स्कूलों से खिलाड़ी निकालेगी सरकार

प्रदेश में नई खेल नीति का ड्राफ्ट तैयार; लोगों ने दिए 87 सुझाव, होगी चर्चा

शिमला – हिमाचल सरकार अब स्कूल स्तर पर खिलाडि़यों की तलाश शुरू करेगी। नई खेल नीति में इसका प्रावधान रहेगा, जिसमें स्कूलों का एक बड़ा योगदान रहेगा। सरकार ने खेल नीति का ड्राफ्ट लगभग तैयार कर दिया है, जिस पर खिलाडि़यों से सुझाव भी मांगे गए थे। बताया जाता है कि 87 लोगों ने अपने सुझाव दिए हैं, जिनसे इन पर चर्चा करने की भी सोची गई है। दो दिन पूर्व यहां खेल नीति पर चर्चा के लिए बैठक बुलाई गई थी, मगर खेल मंत्री गोबिंद सिंह के मौजूद नहीं होने के चलते यह टल गई। मिली जानकारी के अनुसार नई नीति में सभी सरकारी स्कूलों में खेल को बढ़ावा दिए जाने और वहां से खिलाड़ी निकालने की तैयारी है। बच्चों की प्रतिभा को बढ़ाकर सरकार उन्हें भविष्य का बेहतरीन खिलाड़ी बनाने की सोच रखती है। इस सोच के साथ यहां पर स्कूल स्तर पर खेलों को बढ़ावा मिल सकेगा, जिससे बच्चों का बौद्धिक विकास के साथ शारीरिक विकास भी होगा। पहले चरण में प्रदेश सरकार ने जिला सोलन के नालागढ़ और सोलन के कुछ स्कूलों में खेल गतिविधियों का आंकलन करने को कहा है। इसके साथ-साथ प्रारंभिक शिक्षा विभाग को भी महत्त्वपूर्ण योगदान देने को कहा है। खेल नीति को लागू करने से पहले सरकार ने खेल प्रेमियों सहित आम जनमानस से सुझाव भी मांगे थे, जिसमें सात जनवरी तक युवा सेवाएं एवं खेल विभाग को 87 सुझाव मिले। बताया जाता है कि खेल नीति के मसौदे पर दिल्ली विधानसभा के चुनाव के बाद ही चर्चा होगी, क्योंकि खेल मंत्री वहां चुनाव प्रचार में व्यस्त हैं। बता दें कि वर्तमान सरकार दो साल से यहां पर नई खेल नीति या फिर खेल एकट लाने की बात करती आई है जिसका मसौदा अब जाकर तैयार हो सका है।

विचार -विमर्श में शामिल होंगे नामी प्लेयर 

इस बैठक में सुझाव देने वाले लोगों के अलावा राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय स्तर पर नाम कमा चुके हिमाचल के खिलाडि़यों को भी बुलाया जाएगा और सभी से विस्तार में चर्चा होगी। युवा सेवाएं एवं खेल विभाग की सचिव पूर्णिमा चौहान के अनुसार नई खेल नीति को लागू करने से पहले अब तक आए सुझावों पर चर्चा की जाएगी। इसके लिए बैठक रखी थी, जो फिलहाल नहीं हो सकी, इसलिए जल्दी ही नई तारीख तय होगी। प्रदेश में खिलाडि़यों को पुख्ता खेल नीति की जरूरत है।