जम्मू कश्मीर में डाेमिसाइल नियमों में बदलाव

केन्द्रीय गृह मंत्रालय ने केन्द्र शासित प्रदेश जम्मू कश्मीर में केन्द्रीय कानूनों को लागू करने के लिए आदेश जारी कर डोमिसाइल के नियमों में बदलाव किया गया है।मंगलवार रात को अधिसूचित आदेश में कहा गया है कि केन्द्र सरकार जम्मू कश्मीर पुनर्गठन अधिनियम 2019 की धारा 96 के तहत अपने अधिकारों का इस्तेमाल करते हुए जम्मू कश्मीर पुनर्गठन (राज्य विधियों का अनुकूलन) आदेश 2020 जारी कर रही है जो तत्काल प्रभाव से लागू होगा।इस आदेश के तहत नवगठित केन्द्र शासित प्रदेश जम्मू कश्मीर में सरकारी नौकरी के लिए डाेमिसाइल को नये सिरे से परिभाषित किया गया है। नये प्रावधान के तहत 15 वर्षों तक जम्मू कश्मीर में रहने वाले या सात वर्षों तक वहां पढने और दसवीं या बारहवीं की परीक्षा देने वाले व्यक्ति को डाेमिसाइल प्रमाण पत्र के लिए योग्य माना जायेगा। इस प्रमाण पत्र के जरिये वे राजपत्रित और गैर राजपत्रित दोनों तरह की सरकारी नौकरियों के लिए आवेदन कर सकेंगे।राहत और पुनर्वास आयुक्त के यहां पंजीकृत प्रवासी भी इन नौकरियों में आवेदन के योग्य माने जायेंगे। इसके साथ साथ जम्मू कश्मीर में दस वर्ष तक सेवा करने वाले अखिल भारतीय सेवा , केन्द्र सरकार, सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों , केन्द्र सरकार के स्वायत्त संस्थानों , सार्वजनिक बैंकों और केन्द्रीय विश्विविद्यालयों के कर्मचारियों के बच्चे भी इन नौकरियों के लिए आवेदन कर सकेंगे।जम्मू कश्मीर का राज्य का दर्जा वापस लेते हुए केन्द्र सरकार ने गत 5 अगस्त को इसे दो केन्द्र शासित प्रदेशों जम्मू कश्मीर तथा लद्दाख में विभाजित कर दिया था। इसके साथ ही जम्मू कश्मीर के निवासी को परिभाषित करने वाले अनुच्छेद 35 ए को भी निरस्त कर दिया गया था। इसमें केवल जम्मू कश्मीर के निवासी ही वहां सरकारी नौकरी के लिए आवेदन कर सकते थे और अचल संपत्ति के मालिक हाे सकते थे।