आईजीएमसी की बिगड़ी तबीयत, पीजीआई चंडीगढ़ में हिमाचलियों को नहीं मिल रहा इलाज, रैफर किए मरीज भी भेजे वापस

पीजीआई चंडीगढ़ में हिमाचलियों को नहीं मिल रहा इलाज, रैफर किए गए गंभीर मरीज भी भेजे जा रहे वापस

शिमला – प्रदेश के सबसे बड़े अस्पताल में मरीजों की संख्या बढ़ने लगी है। पीजीआई ने हिमाचल के मरीजों का इलाज करने के लिए मना कर दिया है। जानकारी के अनुसार आईजीएमसी प्रशासन की ओर से जिन गंभीर मरीजों को पीजीआई के लिए रैफर किया जा रहा है, उन्हें भी वापस भिजवा दिया है। ऐसे में अब आईजीएमसी के ऊपर अधिक बोझ बढ़ रहा है। पूरे प्रदेश से आईजीएमसी में ही इलाज के लिए मरीज आ रहे हैं। अस्पताल से मिले की आंकड़ों की अगर बात करें, तो एक दिन में सौ से ज्यादा मरीजों की एडमिशन हो रही है, जिससे कि अब अस्पताल में बेड की कमी भी खलने लगी है। दरअसल कोविड के इस काल से बचने के लिए सोशल डिस्टेंसिंग की पालना करने को लेकर बार-बार कहा जा रहा है, लेकिन अगर अस्पताल की बात करें, तो एक बैड पर दो व तीन मरीजों का इलाज चल रहा है। खासतौर पर आईजीएमसी के ऑर्थो, मेडिसिन, वार्डों में एक बेड पर दो व तीन मरीज रह रहे हैं। रोजाना  आईजीएमसी में मरीजों की संख्या बढ़ती जा रही है, वहीं सोशल डिस्टेंसिंग रखना भी यहां बड़ा मुश्किल हो रहा है। जानकारी के अनुसार 850 बेड आईजीएमसी अस्पताल में है, जबकि हजारों की संख्या में यहां मरीज आते हैं और एडमिट होते हैं।

पीजीआई में जान पहचान वालों का ही हो रहा इलाज

अस्पताल में मजबूरी में आने वाले मरीज यहां की भीड़ देखकर और भी डर जाते हैं। फिलहाल पहले आईजीएमसी से गंभीर मरीजों को पीजीआई भेज दिया जाता था, लेकिन आईजीएमसी के अनुसार अब पीजीआई से हिमाचल के मरीजों को वापस भेजा जा रहा है। पीजीआई में हिमाचल के केवल उन्हीं मरीजों का इलाज हो रहा है, जिनके कांटैक्ट वहां अच्छे हैं। फिलहाल आईजीएमसी में सोशल डिस्टेंसिंग अब तभी हो पाएगी, जब अस्पताल की नई ओपीडी बनकर पूरी तरह से तैयार हो जाएंगी।