पाकिस्तान ने पैदल यात्रियों के लिए खोले अफगानिस्तान बार्डर, कोरोना महामारी के चलते थे बंद

इस्लामाबाद — पाकिस्तान ने मंगलवार को अफगानिस्तान के उत्तर-पश्चिमी खैबर पख्तूनख्वा प्रांत से लगने वाला बॉर्डर पैदल यात्रियों के लिए खोल दिया जो मार्च में वैश्विक महामारी कोरोना वायरस के कारण बंद कर दिया गया था। गृह मंत्रालय की तरफ से सोमवार को जारी अधिसूचना के अनुसार के पी प्रांत में सभी बॉर्डर टर्मिनल पैदल यात्रियों के लिए सप्ताह में चार दिन यानी मंगलवार, बुधवार, गुरुवार और शनिवार को खुले रहेंगे।

अधिसूचना में बताया गया कि तोरखम बॉर्डर से पाकिस्तान आ रहे लोगों के लिए वैध पासपोर्ट और वीजा जरूरी होगा। पाकिस्तान ने पहले ही दक्षिण-पश्चिम बलूचिस्तान प्रांत में पैदल यात्रियों के लिए अफगानिस्तान के साथ स्थित चमन सीमा को खोल दिया है और अफगानिस्तान के लिए पाकिस्तानी प्रधानमंत्री के विशेष प्रतिनिधि मोहम्मद सादिक ने भी इसकी पुष्टि की है।

पेलोसी बोले, ट्रंप का कर भुगतान राष्ट्रीय सुरक्षा का मुद्दा
वाशिंगटन — अमेरिका में हाउस ऑफ रिप्रेजेन्टिव की अध्यक्ष नैंसी पेलोसी ने कहा है कि न्यूयार्क टाइम्स में राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के वित्तीय रिकार्ड पर प्रकाशित रिपोर्ट के मुताबिक अगर उन्होंने (श्री ट्रंप) ने विदेशी फायदे के लिए पैसा लगाया है तो यह एक राष्ट्रीय सुरक्षा का मुद्दा है। सुश्री पेलोसी ने कहा कि रिपोर्ट से जाहिर होता है कि राष्ट्रपति पर 4000 लाख डॉलर का कर्ज है। उन्होंने कहा कि तथ्य यह है कि आप एक ऐसे राष्ट्रपति हो सकते हैं जिस पर लाखों डॉलर का बकाया है, जिसे वह व्यक्तिगत रूप से ऋणदाताओं को गारंटी देता है और हम नहीं जानते कि ये ऋणदाता कौन हैं। उन्होंने कहा कि श्री ट्रम्प रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के ऋणी हो सकते हैं ।

उन्होंने सवालिया लहजे में कहा कि पुतिन के पास क्या है ? राष्ट्रपति की राजनीति के रूप? व्यक्तिगत रूप से? आर्थिक रूप से? उल्लेखनीय है कि न्यूयार्क टाइम्स ने सोमवार को अपनी रिपोर्ट में बताया था कि श्री ट्रंप ने व्हाइट हाउस में अपने कार्यकाल के पहले वर्ष 2016-17 के दौरान संघीय आयकर के तौर पर महज 750 अमेरिकी डॉलर का भुगतान किया।

अखबार के अनुसार यह रिपोर्ट श्री ट्रंप और उनकी कंपनियों के दो दशक के रिकार्ड पर आधारित है। रिपोर्ट में कहा गया है कि बीते 15 वर्षो में से 10 वर्ष ट्रंप ने कोई आयकर भुगतान नहीं किया। दूसरी तरफ श्री ट्रंप ने अखबार में छपी रिपोर्ट पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए इस खबर को खारिज करते हुए इसे फेक न्यूज करार दिया है।