जींद से तीन साइबर जालसाज गिरफ्तार, निष्क्रिय खाते से 16 करोड़ धोखाधड़ी की साजिश पर काबू

हरियाणा पुलिस की बड़ी कार्रवाई, निष्क्रिय खाते से 16 करोड़ धोखाधड़ी की साजिश पर काबू

दिव्य हिमाचल ब्यूरो — चंडीगढ़

हरियाणा पुलिस ने एक बड़ी कार्रवाई करते हुए जींद जिले से तीन शातिर लोगों को गिरफ्तार किया है, जो आईसीआईसीआई बैंक की कानपुर स्थित शाखा के निष्क्रिय (डोरमेंट) बैंक खाते की जानकारी का उपयोग कर 16 करोड़ रुपए से अधिक की धोखाधड़ी करने की साजिश रच रहे हैं। हरियाणा के पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) मनोज यादव ने बुधवार को इस संबंध में खुलासा करते हुए बताया कि इन साइबर अपराधियों के गिरोह का पर्दाफाश तब हुआ जब साइबर पुलिस स्टेशन, पंचकूला की टीम को गुप्त सूचना मिली कि कुछ लोग निष्क्रिय खाते से 16 करोड़ रुपए ट्रांसफर करने का प्रयास कर धोखाधड़ी को अंजाम दे रहे हैं। उन्होंने कहा इस संबंध में गुप्त सूचना मिलने पर हमारी साइबर टीम तुरंत कार्रवाई में जुट गई और जींद के गांव मालवी में रेड कर तुरंत तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया गया।

यादव ने प्रदेश में साइबर अपराधियों को बेनकाब करते हुए व्यापक और समंवित तरीके से निपटने के लिए डीजीपी क्राइम मोहम्मद अकिल, डीआईजी साइबर क्राइम श्री पंकज नैन और उनकी समस्त टीम के कार्य की सराहना की। चार आरोपियों में से पकड़े गए तीन की पहचान जिला जींद निवासी जगबीर और कप्तान तथा राजस्थान के झुंझुनू निवासी इमरान के रूप में हुई है। इस सिलसिले में मामला दर्ज किया गया है। पुलिस इस बात की भी जांच कर रही है कि और कौन लोग इसमें शामिल हैं।

आईसीआईसीआई बैंक की कानपुर शाखा से बनाई थी योजना

प्रारंभिक जांच में खुलासा हुआ कि इन शातिर जालसाजों ने आईसीआईसीआई बैंक की कानपुर स्थित शाखा से करोडों की धोखाधडं़ी की योजना बनाई थी। उन्होंने खाते से जुड़े ई-मेल को एक्सेस किया और ओटीपी प्राप्त करने के लिए खाते में एक नया मोबाइल नंबर धोखाधड़ी से अपडेट करने में कामयाब रहे। जालसाजों को फंड ट्रांसफर करने के लिए 48 घंटे और चाहिए थे, लेकिन इससे पहले ही उन्हें पुलिस ने काबू कर लिया। एक लाभार्थी खाता जहां फंड ट्रांसफर करने की योजना बनाई गई थी, की भी पहचान की गई है।