अब आम लोगों से आर्थिक मदद लेगा डब्ल्यूएचओ, फंड जुटाने के लिए नए फाउंडेशन का किया ऐलान

जेनेवा, नई दिल्ली – अपने नियमित कामकाज के लिए सदस्य देशों की मदद पर विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) की निर्भरता समाप्त करने की दिशा में कदम बढ़ाते हुए डब्ल्यूएचओ फाउंडेशन के नाम से एक नए संगठन की स्थापना की गई। डब्ल्यूएचओ के महानिदेशक डा. तेद्रोस गेब्रियेसस और डब्ल्यूएचओ फाउंडेशन के संस्थापक प्रो. थॉमस जेल्टनर ने कोविड-19 पर आयोजित नियमित प्रेस वार्ता में इसकी घोषणा की। दोनों संगठनों के प्रमुखों ने एक सहमति पत्र पर हस्ताक्षर किए। डा. तेद्रोस ने बताया कि कानूनी रूप से डब्ल्यूएचओ फाउंडेशन विश्व स्वास्थ्य संगठन से अलग संस्था है जो स्विट्जरलैंड में पंजीकृत है। यहीं जेनेवा में डब्ल्यूएचओ का मुख्यालय भी है। वह डब्ल्यूएचओ के कामकाज के लिए गैर-पारंपरिक स्रोतों से पैसे जुटाएगा। ये पैसे आम लोगों और बड़े दानदाताओं से जुटाए जाएंगे। सहमति पत्र के जरिए दोनों संगठन एक-दूसरे से संबद्ध होंगे। अमरीका द्वारा पिछले दिनों डब्ल्यूएचओ को दी जाने वाली मदद रोकने के परिप्रेक्ष्य में डब्ल्यूएचओ फाउंडेशन की स्थापना महत्त्वपूर्ण है। इससे संयुक्त राष्ट्र के तहत काम करने वाला वैश्विक स्वास्थ्य संगठन अपने खर्चे और परियोजनाओं के लिए सदस्य देशों की मदद पर निर्भर नहीं रहेगा। हालाकि एक प्रश्न के उत्तर में डा. तेद्रोस ने नए फाउंडेशन की स्थापना और अमरीकी मदद रोके जाने की घटना के बीच कोई संबंध होने से इनकार कर दिया। उन्होंने कहा कि इसकी अवधारणा दो साल पहले तैयार हुई थी तथा इस दिशा में पिछले साल मार्च में ही काम शुरू हो गया था।