हिमाचल प्रदेश ने रचा नया इतिहास, 68 सीटों में डिप्टी सीएम वाला दूसरा राज्य बना हिमाचल

उपमुख्यमंत्री का नया चेहरा बने मुकेश अग्रिहोत्री

विशेष संवाददाता-शिमला

मुकेश अग्रिहोत्री के उपमुख्यमंत्री बनते ही हिमाचल के इतिहास में यह पल दर्ज हो गया है। महज 68 सीटों वाले प्रदेश में पहली मर्तबा किसी नेता ने उपमुख्यमंत्री का पद संभाला है। रिज मैदान पर मुख्यमंत्री के साथ ही उपमुख्यमंत्री की शपथ पहली बार हुई है। इससे पहले जिस भी मुख्यमंत्री ने हिमाचल की बागडोर संभाली वह अकेले ही थे। फिलहाल, पूर्व मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह के बगैर पार्टी को टूटने से बचाने के लिए कांग्रेस हाईकमान ने यह फार्मूला खोजा था और इस फार्मूले में मुकेश अग्रिहोत्री बिलकुल फिट बैठ गए हैं। मुकेश अग्रिहोत्री पहले उपमुख्यमंत्री बने हैं और प्रदेश के इतिहास में यह भविष्य में सामान्य ज्ञान का सवाल भी होने वाला है। हालांकि उपमुख्यमंत्री के नाम के लिए विक्रमादित्य सिंह की भी चर्चा थी, लेकिन उनके नाम पर फैसला नहीं हो पाया। पार्टी हाईकमान ने आखिरी घड़ी में मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्री के साथ ही शपथ ग्रहण समारोह आयोजित करने का फैसला किया और मुकेश अग्रिहोत्री अकेले ही इस इतिहास के हिस्सेदार बन गए।

गौरतलब है कि बड़े राज्यों में राजनीतिक दल आपस में चल रहे मनमुटाव की वजह से उपमुख्यमंत्री का ऐलान पहले भी करते रहे हैं। इस समय आंध्रप्रदेश में सबसे अधिक डिप्टी सीएम हैं। यहां जातीय संतुलन साधने के लिए मुख्यमंत्री जगमोहन रेड्डी ने पांच नेताओं को उपमुख्यमंत्री की बागडोर दी है। बहरहाल, भविष्य में राजनीतिक दल इस फार्मूले पर काम करें या न करें, लेकिन मुकेश अग्रिहोत्री के नाम यह रिकॉर्ड अब दर्ज हो चुका है, जिसे मिटाया नहीं जा सकेगा।

आंध्रप्रदेश में पांच कर्नाटक में तीन डिप्टी सीएम

सबसे ज्यादा उपमुख्यमंत्री आंध्र प्रदेश में हैं। यहां पांच डिप्टी सीएम हैं। जबकि कर्नाटक में तीन डिप्टी सीएम हैं। इसके अलावा सरकारें अभी तक उत्तर प्रदेश, बिहार और गोवा में दो-दो उपमुख्यमंत्री बना चुकी हैं। दिल्ली के बाद हिमाचल भी एक उपमुख्यमंत्री वाले राज्य की कतार में शामिल हो गया है। हिमाचल में पहली मर्तबा उपमुख्यमंत्री के तौर पर किसी नेता ने शपथ ली है।

1952 में शुरू हुआ सियासी सफर

1952 में पहली बार हिमाचल में चुनाव हुए थे। हिमाचल के पहले मुख्यमंत्री यशवंत सिंह परमार थे। 25 जनवरी 1971 को हिमाचल 18वां राज्य बना था। 1972 में पहली बार 68 विधानसभा सीटों पर चुनाव हुए थे। अब सुखविंद्र सिंह सुक्खू 15वें मुख्यमंत्री के तौर पर शपथ ले चुके हैं। सुखविंद्र सिंह सुक्खू से पहले रामलाल ठाकुर, वीरभद्र सिंह, शांता कुमार, प्रेम कुमार धूमल और जयराम ठाकुर प्रदेश की बागडोर संभाल चुके हैं।

हेलिकाप्टर में नादौन लौटीं मुख्यमंत्री की माता

नादौन। मुख्यमंत्री सुखविंदर सुक्खू के पैतृक गांव भंवडा में दिनभर जश्न का माहौल रहा। वहीं, पूरे विधानसभा क्षेत्र में सुक्खू समर्थकों ने शपथ ग्रहण के बाद मिठाइयां बाटीं। सुक्खू की धर्मपत्नी व दोनों बेटियां शनिवार शाम को ही शिमला के लिए रवाना हो गई थी। शिमला से आए विशेष हेलिकॉप्टर द्वारा सुक्खू की माता, भाई व अन्य परिजनों को शिमला पहुंचाया गया, ताकि शपथ ग्रहण समारोह में वह लोग भाग ले सकें। रविवार शाम को हेलिकाप्टर द्वारा ही परिजनों को वापस नादौन पहुंचाया गया।

स्व. वीरभद्र सिंह को श्रद्धांजलि

शिमला । शपथ ग्रहण समारोह में पहुंचे राहुल गांधी ने नत्मस्तक होकर पूर्व मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह को श्रद्धांजलि अर्पित की। शपथ ग्रहण के लिए तैयार किए गए मंच पर पूर्व सीएम स्व. वीरभद्र सिंह का फोटो रखा गया था। राहुल गांधी जैसे ही मंच पर पहुंचे उन्होंने लोगों का अभिवादन स्वीकार करने के बाद वीरभद्र सिंह को पुष्प अर्पित किए। इस मौके पर कांग्रेस की राष्ट्रीय महासचिव प्रियंका गांधी ने भी श्रद्धांजलि दी। इस मौके पर प्रदेश प्रभारी राजीव शुक्ला और राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खडग़े भी मौजूद रहे। इस मौके पर राहुल गांधी ने प्रतिभा सिंह को बधाई दी। राहुल गांधी ने कहा कि आपकी मेहनत रंग लाई है। प्रदेश कांग्रेस भी बधाई की पात्र है।