बड़े आर्थिक संकट में अमरीका

By: Jan 21st, 2018 12:04 am

पांच साल में दूसरा शटडाउन, खर्च विधेयक मंजूर न होने से कई सरकारी कार्यालय बंद

वाशिंगटन— अमरीका में सरकार के सामने एक बड़ा आर्थिक संकट खड़ा हो गया है। पांच साल में यह दूसरा मौका है, जब अमरीका को इस समस्या का सामना करना पड़ा। बताया जा रहा है कि सरकारी खर्चों को लेकर लाए गए महत्त्वपूर्ण आर्थिक विधेयक को अमरीकन पार्लियामेंट की मंजूरी नहीं मिल पाई है, जिस कारण सरकार को शटडाउन’ की घोषणा करनी पड़ी। खबरें हैं कि ऐसी स्थिति आने पर अमरीका को कई सरकारी कार्यालयों को बंद करना पड़ा है। इससे पहले 2013 में 16 दिनों के लिए, जबकि 1996 में 21 दिनों तक के लिए तालाबंदी हुई थी। सरकारी तालाबंदी के दौरान गैर-जरूरी सेवाओं से जुड़े हजारों कर्मचारियों को अवैतनिक अवकाश पर भेज दिया जाता है। यह समस्या ऐसे समय पर आई है, जब राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के कार्यकाल को एक साल पूरा हो गया है। वहीं डेमोक्रेट्स और रिपब्लिकन इस समस्या के लिए एक-दूसरे को जिम्मेदार ठहरा रहे हैं। शुक्रवार रात रिपब्लिकन द्वारा पेश किए गए बजट प्रस्ताव के पक्ष में समर्थन में ज्यादा वोट मिले, लेकिन वे पर्याप्त नहीं थे। बजट प्रस्ताव के समर्थन में 50 वोट पड़े, प्रस्ताव के खिलाफ 48 वोट पड़े, जबकि प्रस्ताव को पास कराने के लिए 60 वोटों की जरूरत है। रिपब्लिकन पार्टी के बहुमत वाली प्रतिनिधि सभा में तो यह विधेयक आसानी से पारित हो गया था, लेकिन सीनेट में रिपब्लिकन पार्टी का बहुमत होने के बावजूद इसे पारित कराने के लिए विपक्षी डेमोक्रेट पार्टी के समर्थन की दरकार थी।  रिपब्लिकन पार्टी के तीन सीनेटर इस बिल के विरोध में थे, जबकि एक सीनेटर कैंसर के इलाज के लिए अपने घर ऐरीजोना में हैं। ट्रंप ने ट्वीट कर कहा कि सीनेट से पारित कराने के लिए डेमोक्रेट की जरूरत है, लेकिन वे गैरकानूनी इमीग्रेशन और कमजोर सीमाएं चाहते हैं। उधर, अमरीका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने इसके लिए डेमोक्रेट्स को जिम्मेदार ठहराते हुए कहा कि डेमोक्रेट्स टैक्स कटौती की बड़ी सफलता को कम करने के लिए शटडाउन चाहते हैं।

कल देखने को मिलेगा असर

इस शटडाउन का असर सोमवार से देखने को मिलेगा, जब कई विभागों के कर्मचारी अपने काम पर नहीं जा पाएंगे और उन्हें बगैर पगार के ही घर पर बैठना होगा। एक अनुमान लगाया जा रहा है कि इससे करीब आठ लाख सरकारी कर्मचारियों को घर बैठने पर मजबूर होना पड़ सकता है। सिर्फ अति आवश्यक सेवाओं को ही चालू रखा जाएगा। हालांकि जहां सैन्यकर्मियों की ड्यूटी लगी है, उन्हें नहीं हटाया जाएगा।

निर्वासन से बचाए जाएं ड्रीमर्स

इमीग्रेशन के मसले पर डेमोक्रेट पार्टी की मांग है कि करीब सात लाख ड्रीमर्स को निर्वासन से बचाया जाए। डेफर्ड एक्शन फॉर चिल्ड्रन अराइवल (डीएसीए) योजना को ड्रीमर्स भी कहते हैं। बता दें कि डीएसीए वर्ष 2012 में पूर्व अमरीकी राष्ट्रपति बराक ओबामा के कार्यकाल में शुरू किया गया एक सरकारी कार्यक्रम था। इसके तहत गैरकानूनी ढंग से अमरीका पहुंचे बच्चों को अस्थायी रूप से रहने, पढ़ने और काम करने का अधिकार दिया गया, लेकिन राष्ट्रपति ट्रंप ड्रेमोक्रेट्स की इस मांग को मानने के लिए तैयार नहीं हैं।

कई बार पैदा हुए हालात

अमरीका के इतिहास में कई बार शटडाउन की स्थिति आ चुकी है। 1981, 1984, 1990, 1995-96 और 2013 के दौरान अमरीका के पास खर्च करने के लिए पैसा नहीं बचा था। अक्तूबर 2013 का शटडाउन करीब दो हफ्तों तक चला था। उस वक्त अमरीका में ओबामा की सरकार थी और आठ लाख कर्मचारियों को इस दौरान घर बैठना पड़ा था।

रोकना पड़ता है कामकाज

अमरीका में एंटीडेफिशिएंसी एक्ट लागू है। इस एक्ट के तहत अमरीका में पैसे की कमी होने पर संघीय एजेंसियों को अपना कामकाज रोकना पड़ता है, यानी उन्हें छुट्टी पर भेज दिया जाता है।  इस दौरान उन्हें वेतन भी नहीं दिया जाता। ऐसी स्थिति में सरकार संघीय बजट लाती है, जिसे प्रतिनिधि सभा और सीनेट, दोनों में पारित कराना जरूरी होता है।


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