पेरिस समझौते पर ट्रंप ने फिर लपेटे भारत-चीन

By: Feb 26th, 2018 12:05 am

अमरीकी राष्ट्रपति बोले; यूएस के लिए आफत जैसा था करार, दोनों देश खा रहे थे मलाई

वाशिंगटन – अमरीकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने पिछले साल पेरिस जलवायु समझौते से हटने के फैसले के लिए एक बार फिर भारत और चीन को जिम्मेदार ठहराया है। उन्होंने संधि को अनुचित बताते हुए कहा कि इसमें अमरीका पर सख्त वित्तीय व आर्थिक बोझ लादा गया है, जो वाशिंगटन को इस समझौते से सबसे ज्यादा लाभान्वित होने वाले देशों को चुकाना है। उन्होंने भारत और चीन को निशाना बनाया और कहा कि इन दोनों देशों को पेरिस समझौते से सबसे ज्यादा फायदा हुआ, जबकि अमरीका के लिए यह संधि आफत की तरह है। ट्रंप ने जून में इस ऐतिहासिक संधि से खुद को अलग करने की घोषणा की थी। उन्होंने कहा कि पेरिस समझौते से उनके देश को हजारों अरब डालर की कीमत चुकानी पड़ती, जिससे नौकरियां जातीं, तेल, गैस कोयला और विनिर्माण उद्योग प्रभावित होते। हालांकि उन्होंने कहा कि वह अमरीका के हित में बेहतर समझौता करने को तैयार हैं, अथवा शर्तों में सुधार करने पर संधि में फिर से शामिल हो सकते हैं। इससे पहले भी कई मौकों पर ट्रंप कह चुके हैं कि वह पेरिस समझौते में तभी शामिल होंगे, जब इसमें बदलाव किया जाएगा। ट्रंप ने कहा था कि अगर कोई कहता है कि पेरिस समझौते को स्वीकार करो तो इसे बिलकुल अलग समझौता होना होगा, क्योंकि हमने बेहद ही खतरनाक समझौता किया था। जलवायु परिवर्तन से निपटने के लिए पेरिस समझौते पर पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा ने हस्तक्षर किए थे, लेकिन जून 2017 में ट्रंप ने इस समझौते से अलग होने की घोषणा कर सारी दुनिया को हैरत में डाल दिया था।

अमरीका से बात को उत्तर कोरिया तैयार

सियोल – अमरीका और उत्तर कोरिया में तनातनी के बीच एक राहत की खबर आई है। साउथ कोरिया के राष्ट्रपति कार्यालय ने बताया कि प्योंगचोंग विंटर ओलंपिक के क्लोजिंग सेरेमनी में उत्तर कोरिया से आए उच्च स्तरीय प्रतिनिधिमंडल ने कहा कि उत्तर कोरिया अमरीका के साथ बातचीत को तैयार था। ब्लू हाउस की तरफ से जारी बयान में यह कहा गया है कि साउथ कोरिया के राष्ट्रपति मून जे इनके साथ प्योंगचोंग में अज्ञात स्थान पर हुई उत्तर कोरिया के प्रतिनिधिमंडल स्तरीय वार्ता हुई। इसमें कहा गया कि दोनों कोरियाई देशों के संबंधों को बेहतर करने के साथ ही अमरीका और उत्तर कोरिया के बीच बेहतर तालमेल बनाने की बातें कही गई। गौरतलब है कि अमरीका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और उत्तर कोरिया कोरिया के तानाशाह किम जोंग उन के बीच पिछले कई महीनों से लगातार शब्दों को बाण चलाए जा रहे हैं।

प्रतिबंध लगाने पर भड़का चीन

बीजिंग — उत्तर कोरिया के साथ अवैध व्यापार के सिलसिले में चीनी कंपनियों पर प्रतिबंध लगाने के अमरीका के फैसले का चीन ने विरोध किया है। चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता जेंग शुआंग ने कहा कि चीन अमरीका के इन एकतरफा प्रतिबंधों का विरोध करता है। इनमें चीन के जिन लोगों और कंपनियों को निशाना बनाया गया है, वह गलत है। प्रवक्ता ने कहा कि हम जल्द ही इस बाबत अमरीका से बात करेंगे और इस प्रतिबंध को खत्म करने के लिए कहेंगे। इस तरह के प्रतिबंध से दोनों देशों के सहयोग पर फर्क पड़ेगा।


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