Photo Gallery
-
अटल टनल रोहतांग। सुरंग की लंबाई 9.02 किलोमीटर है, जो कुल्लू को लाहुल-स्पीति से जोड़ती है
-
अपनी ख़ूबसूरती के लिए विश्वविख्यात धर्मशाला का एचपीसीए क्रिकेट स्टेडियम
-
विश्व धरोहर कालका-शिमला रेललाइन। सोलन के पास सुरंग से गुजरती ट्रेन
-
चंबा जिला में स्थित जोत पास। यहां साल भर पर्यटकों का जमावड़ा लगा रहता है
-
किन्नौर जिला में स्थित किन्नर कैलाश। भगवान शिव को समर्पित यह स्थल हिंदुओं की आस्था का केंद्र है
-
कांगड़ा जिला के बैजनाथ स्थित पांडवों द्वारा बनाया गया ऐतिहासिक शिव मंदिर
-
वनवास काल के दौरान पांडवों की बेहतरीन नक्काशी का उदाहरण है मसरूर मंदिर
-
कांगड़ा जिला के बड़ोह स्थित राधा-कृष्ण मंदिर की सुंदरता देखते ही बनती है
-
चूड़धार जहां ट्रैकिंग के लिए जानी जाती है, वहीं यहां भोले बाबा अपना आशीर्वाद भी देते हैं
-
लाहुल स्पीति की शान चंद्रताल झील देश-विदेश में आकर्षण का केंद्र है
-
रामसर साइट पौंग झील बेहद खूबसूरत है। प्रवासी परिंदों की मौजूदगी इसे और भी सुंदर बना देती है
-
सराहन में मां भीमाकाली का भव्य मंदिर,मां की कृपा हो जाए, तो क्या कहने
-
बिलासपुर जिला की गोबिंदसागर झील पर ढलती एक शाम
-
सोलन का जटोली मंदिर एशिया में भगवान शिव के सबसे ऊंचे मंदिरों में शुमार है (122 फुट)
-
किन्नौर के नालो स्थित विश्व प्रसिद्ध नाको झील। यह पर्यटकों का पसंदीदा स्थल है
-
बिलासपुर से 20 किलोमीटर दूर स्थित ऋषि मार्कंडेय मंदिर। भगवान शिव यहां खुद प्रकट हुए थे
-
करोल टिब्बा (सोलन) की खूबसूरती देखते ही बनती है। एनएच किनारे सटा यह शहर रोचक कहानियां समेटे हुए है
-
जिला कुल्लू की ऊंची चोटी पर स्थित विश्वविख्यात बिजली महादेव का मंदिर
-
मनाली से 20 किलोमीटर दूर नग्गर कैसल। इस राष्ट्रीय धरोहर के दीदार को देश-विदेश से पर्यटक आते हैं
-
बिलासपुर स्थित आल इंडिया मेडिकल इंस्टीट्यूट(एम्स)
-
किन्नौर जिला का प्रसिद्ध देव मंदिर। मंदिर के प्रति जिला के लोगों की गहरी आस्था है
-
बिलासपुर की सोलहसिंगी धार पर स्थित बच्छरेटू का ऐतिहासिक किला
-
हिमाचल अपनी संस्कृति के लिए विख्यात है। इसी की झलक पेश करतीं किन्नौरी युवतियां
-
धर्मशाला स्थित डल लेक। देवदार के जंगलों के बीच यह झील पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र है
-
हरियाली की गोद में बसा सोलन का पर्यटक स्थल कसौली सैलानियों का पसंदीदा स्थल है
-
धर्मशाला में वॉटरफॉल का मनमोहक दृश्य, इसे देखने के लिए दुनियाभर के सैलानी पहुंचते हैं
-
किन्नौर जिला की भावा वैली, जो जन्नत से कम नहीं है
-
विश्व प्रसिद्ध भाखड़ा बांध में डूबता दिनभर का थका सूरज
-
हमीरपुर स्थित गसोता महादेव मंदिर। यहां मौजूद हजारों वर्ष पुराने शिवलिंग में लोगों की गहरी आस्था है
-
सर्दियों के दौरान किन्नौर जिला में कुछ इस तरह जम जाते हैं जल स्रोत
-
लाहुल-स्पीति स्थित विश्वविख्यात ‘की मोनेस्ट्री’ का विहंगम दृश्य, जो बरबस मन मोह लेता है
-
दियोटसिद्ध से चंद किलोमीटर दूर शाहतलाई में बाबा बालकनाथ का मंदिर। यहां गुरना झाड़ी भी है
-
पर्यटक स्थल मनाली के पास स्थित देवी हिडि़म्बा का मंदिर। मंदिर का इतिहास महाभारत से जुड़ा है
-
किन्नौर की बस्पा नदी में रिवर राफ्टिंग का रोमांच। यहां की सतलुज नदी में भी रिवर राफ्टिंग की जाती है
-
कांगड़ा के देहरा स्थित ऐतिहासिक मां बग्लामुखी मंदिर। यहां शत्रुनाशिनी यज्ञ किए जाते हैं
-
राजधानी शिमला स्थित हिमाचल प्रदेश का विधानसभा भवन। जनहित में बड़े-बड़े फैसले यहीं से लिए जाते हैं
-
किन्नौर जिला का कल्पा गांव। बर्फीले पहाड़ों के बीच बसा यह स्थान अपनी सुुंदरता के लिए मशहूर है
-
धर्मशाला हिमाचल प्रदेश की दूसरी राजधानी है। तपोवन स्थित विधानसभा का भव्य भवन
-
खूबसूरत किन्नौर जिला में सेब की बंपर फसल होती है। यहां का सेब बेहद स्वादिष्ट है
-
त्रिलोकपुर मंदिर नाहन के पास बालासुंदरी टेंपल। इसका निर्माण 1573 में राजा दीप प्रकाश की देखरेख में हुआ था
-
डलहौजी हिमाचल का प्रमुख पर्यटक स्थल है। यहां देश-विदेश से सैलानी पहुंचते हैं
-
गुलाबी बुरांस हिमाचल का राज्य पुष्प है। यह फूल ज्यादातर ठंडे इलाकों में मिलता है
-
शिमला स्थित जाखू रोप-वे। इसके बन जाने के बाद राजधानी के पर्यटन में और निखार आया है
-
अनछुआ हिमाचल। मंडी जिला की जंजैहली घाटी एक नए पर्यटन स्थल के रूप में उभर कर सामने आई है
-
हिमाचल का राज्यपक्षी जुजुराना। विलुप्त हो रही इस प्रजाति को हिमाचल में बचाए रखने के प्रयास जारी हैं
-
कांगड़ा किला विश्व भर में विख्यात है। इस दुर्ग को त्रिगर्त और नगरकोट के नाम से भी जाना जाता है
-
कुफरी राजधानी शिमला का प्रमुख पर्यटक स्थल है। यहां कई फिल्मों की शूटिंग हो चुकी है
-
मनु की नगर मनाली विश्व प्रसिद्ध है। पर्यटक स्थल होने के साथ यह बालीवुड सितारों की भी पहली पसंद है
-
ऊना जिला में गोबिंदसागर झील के बीच बाबा गरीब नाथ मंदिर। पांच सौ साल पुराना यह मंदिर बेहद खूबसूरत है
-
मंडी शिवरात्रि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर विख्यात है। उत्सव के दौरान यहां भव्य देव मिलन होता है
-
चंबा के भरमौर स्थित मणिमहेश झील हिंदुओं और शिव भक्तों की आस्था का प्रमुख केंद्र है
-
मंडी जिला की पराशर झील। इसके किनारे पैगोड़ा शैली में बना 13वीं सदी का मंदिर भी है
-
श्रीरेणुका झील। इसका नाम रेणुका देवी के नाम पर पड़ा है। इसे रामसर साइट घोषित किया गया है
-
मंडी जिला में स्थित रिवालसर झील। यह लेक हिंदू, सिख और बौद्ध धर्मों की आस्था का प्रमुख केंद्र है
-
लाहुल-स्पीति के उदयपुर स्थित त्रिलोकीनाथ मंदिर। मंदिर में हिंदू भी पूजा करते हैं और बौद्ध धर्म के अनुयायी भी
-
ऊना जिला में रामपुर-हरोली पुल हिमाचल का सबसे लंबा पुल है। इसकी लंबाई 773. 30 मीटर है
-
शिकारी देवी मंदिर। मंडी जिला में स्थित यह पवित्र स्थान जंजैहली से लगभग 19 किलोमीटर दूर है