पर्यावरण संरक्षण की लापरवाही पर नपेंगे अधिकारी

By: नगर संवाददाता-धर्मशाला Sep 30th, 2020 9:27 am

राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण की समीक्षा बैठक में बोले एडीसी, एनजीटी के निर्देशों पर नियमों का पालन करने के आदेश जारी

नेशनल ग्रीन ट्रिब्युनल के निर्देशों के तहत सभी विभागों को कार्य करने के सख्त दिशा-निर्देश जारी कर दिए गए हैं। इससे पहले भी हिमाचल में एनजीटी का डंडा विभागों की लापरवाही से बड़े स्तर पर चल चुका है। इसके चलते ही अब प्रशासनिक अधिकारियों ने विभागों के अधिकारियों को लापरवाही बरतने पर कड़ी फटकार भी लगाई है।

अतिरिक्त उपायुक्त राहुल कुमार ने कहा कि नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल तथा उच्च न्यायालय के आदेशों की पालना के लिए सभी अधिकारी अपने-अपने विभाग के कार्यों के प्रति जिम्मेदार रहें तथा संबंधित विभाग इस योजना के तहत अपने-अपने क्षेत्रों में तेजी से कार्यों का निर्वहन करें। एडीसी कांगड़ा ने मंगलवार को डीआरडीए के सभागार में राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण के तहत कार्यों की समीक्षा बैठक की अध्यक्षता की। बैठक में जिला में एनजीटी के तहत गठित कमेटियों द्वारा किए गए कार्यों की समीक्षा की गई।

एडीसी ने कहा कि पर्यावरण में स्वच्छता बनाए रखने के दृष्टिगत नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल की और से सौलिड वेस्ट, प्लास्टिक वेस्ट, बॉयो मेडिकल वेस्ट, ई-वेस्ट तथा कंस्ट्रक्शन आदि के प्रबंधन के लिए जो नियम बनाए गए हैं, उनका सफल तरीके से क्रियान्वयन करना सुनिश्चित करें। एडीसी ने कहा कि जिला के नदी-नालों में प्रदूषण, अवैध डंपिंग और अवैध खनन को रोकने के लिए सभी संबंधित अधिकारी कदम उठाएं तथा दोषियों के खिलाफ  कार्रवाई करें। बैठक में बॉयो मेडिकल वेस्ट मैनेजमेंट के तहत जिला में स्वास्थ्य सुविधाओं, जिला में बॉयो मेडिकल वेस्ट की मात्रा व उनका प्रबंधन, बॉयो मेडिकल वेस्ट मैनेजमेंट के लिए ट्रीटमेंट प्लांट स्थापित करने आदि बिदुंओं पर विस्तारपूर्वक चर्चा की गई।

इसके अलावा जिला में चल रहे सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट की कार्य प्रणाली, निर्माणाधीन प्लांटों की प्रगति आदि बिंदुओं पर चर्चा की गई। उन्होंने बताया कि सामाजिक सहभागिता को शामिल करने के लिए जिला पर्यावरण योजना का महत्वपूर्ण महत्व है। इसे व्यक्तिगत भूमिकाओं और जिम्मेदारियों से प्रत्येक विभाग एवं अधिकारी को करना चाहिए  । उन्होंने कहा कि स्वच्छता के लिए डोर-टू-डोर स्तर पर ही तरल तथा ठोस कूड़ा कचरा अलग-अलग से एकत्रित करना जरूरी है, ताकि संयंत्र में तरस तथा ठोस कचरा का सही तरीके से उपयोग हो सके।

बैठक में पर्यावरण संरक्षण से जुड़े अन्य मुद्दों पर भी विस्तार से चर्चा की गई। इस अवसर पर प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड के एसडीओ वरुण गुप्ता ने बैठक का संचालन किया तथा विभिन्न मुद्दों का विस्तृत ब्यौरा पेश किया। इस अवसर पर आईएएस (प्रोवेशन)नवीन तंवर, परियोजना अधिकारी डीआरडीए सोनू गोयल, जिला वन अधिकारी डा. संजीव कुमार, जिला पंचायत अधिकारी अश्वनी शर्मा सहित विभिन्न विभागों के अधिकारी तथा यूएलबी उपस्थित रहे।


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