छात्रों ने जाना, क्यों है रक्तदान जरूरी

By: Apr 22nd, 2021 12:02 am

एपीजी विश्वविद्यालय शिमला में रक्तदान-जागरूकता विषय पर ऑनलाइन वेबिनार आयोजन, मुख्य वक्ता सुप्रिया शर्मा ने छात्रों में भरा जोश

नगर संवाददाता-शिमला
कोरोना काल के चलते अस्पतालों में खून की कमी को दूर करने के लिए रक्तदान के लिए छात्रों को जागरूक किया गया। कोविड काल में इसका महत्त्व और अधिक बढ़ गया है। ब्लड-कनेक्ट फाउंडेशन और एपीजी शिमला विश्वविद्यालय के पत्रकारिता एवं जनसंचार विभाग के सौजन्य से एक दिवसीय रक्तदान-जागरूकता विषय पर ऑनलाइन वेबिनार आयोजित किया गया। वेबिनार में ब्लड-कनेक्ट फाउंडेशन की ओर से सुप्रिया शर्मा मुख्य वक्ता रहीं।

कुलपति प्रो. डा. रमेश चौहान कार्यक्रम में वशिष्ठ अतिथि शामिल हुए। इस ऑनलाइन वेबिनार व कार्यक्रम में एपीजी शिमला विश्वविद्यालय के छात्रों सहित शिक्षकों ने अपनी उपस्थिति दर्ज की। कुलपति रमेश चौहान ने कहा कि रक्तदान का महत्त्व ऐसे ही नहीं कहा जाता और न ही कोई डाक्टर इसे मानव शरीर में विकसित कर सकता है, यह परमात्मा का दिया वरदान है। इसकी खूबी यह है कि इसे जितनी बार मर्जी से दान कर लो यह शरीर में हमारे खानपान से दोबारा बन जाता है। कुलपति चौहान ने कहा कि रक्तदान को लेकर बहुत से लोगों के बीच कई तरह की भ्रांतियां हैं , इन भ्रांतियों को दूर करने के लिए बड़े स्तर पर जागरूकता अभियान की जरूरत है ताकि लोग जरूरतमंद लोगों को रक्तदान कर उनके जीवन को बचाया जा सके। उन्होंने कहा कि अस्पतालों में हमेशा रक्तदाताओं की कमी के चलते अस्पताल में रक्त बैंक खाली होने से गंभीर रोगियों की समय पर सहायता नहीं हो पाती। मुख्य वक्ता सुप्रिया शर्मा ने छात्रों व शिक्षकों को पीपीटी के माध्यम से रक्तदान के महत्त्व पर प्रकाश डाला । रक्तदान कर जरूरतमंद लोगों के जीवन को बचाकर उनको नया जीवन दे सकते हैं। सुप्रिया शर्मा ने कहा कि विश्व में भारत सहित थैलेसीमिया रोग से हजारों बच्चे मानव-रक्त समय पर उपलब्ध न होने पर जीवन खो देते हैं। सुप्रिया शर्मा ने वेबिनार के माध्यम से आग्रह किया कि स्वस्थ लोगों को रक्तदान करने के लिए आगे आना चाहिए।

ताकि असहाय व थैलेसीमिया जैसे रोगों से पीडि़त मासूम बच्चों, दुर्घटनाग्रस्त लोगों, गंभीर बीमारियों से पीडि़त लोगों का जीवन बचाया जा सकें। सुप्रिया ने कहा कि रक्तदान से बड़ा कोई महादान नहीं हैं पर इसके प्रति सेवाभाव, जागरूकता और काउंसिलिंग की जरूरत है। सुप्रिया शर्मा ने छात्रों द्वारा रक्तदान संबंधी पूछे गए सवालों के उत्तर दिए। इस दौरान छात्रों की रक्तदान संबंधित जानकारी अन्य शंकाओं का चिकित्सिय ढंग से निपटारा किया। रक्तदान की सही जानकारी देकर अवगत करवाया। सुप्रिया ने बताया कि ब्लड-कनेक्ट फाउंडेशन की ओर से सभी प्रतिभागी छात्रों को ई-सर्टिफिकेट बतौर सम्मान छात्रों को दिए जाएंगे। ताकि वे स्वस्थ लोगों को समाज में रक्तदान के लिए प्रेरित करें। कार्यक्रम के दौरान एपीजी शिमला विश्वविद्यालय के कुलसचिव डा. अनिल कुमार पाल, डीन एकेडेमिक्स डा. कुलदीप कुमार, प्रो. लोकेश चंदेल, प्रो. अरुण चौधरी, सभी विभागों के विभागाध्यक्ष और प्राध्यापक ने ऑनलाइन माध्यम से वेबिनार में उपस्थित रहे।


Keep watching our YouTube Channel ‘Divya Himachal TV’. Also,  Download our Android App