देश की शान…हिमाचल के जवान…युवाओं ने सेना में लेफ्टिनेंट बनकर बढ़ाया प्रदेश का मान

By: Dec 13th, 2021 12:05 am

 पास आउट परेड में दिखा देश सेवा का जज्बा

जवाली के अभिषेक ने चमकाया नाम

निजी संवाददाता — जवाली
विधानसभा क्षेत्र जवाली के अंतर्गत ग्राम पंचायत भाली के अभिषेक समयाल ने भारतीय सेना में बतौर लेफ्टिनेंट बनकर अपना, अपने माता-पिता का नाम रोशन किया है। ग्राम पंचायत भाली के गांव भनियाडी निवासी सेवानिवृत्त कैप्टन प्रदीप समयाल व माता कृष्णा देवी के घर जन्मे अभिषेक समयाल का बचपन से ही सेना में अधिकारी बनने का सपना रहा। परिजनों ने भी बेटे के हौंसले को बढ़ाया और उसे सेना अधिकारी बनने के लिए मेहनत करवाई। अभिषेक समयाल सेना में कमीशन पास करते हुए आर्मी में भर्ती हुआ है। अब अभिषेक समयाल ने भारतीय सेना में लेफ्टिनेंट बनकर अपने घरवालों का मान बढ़ाया है। रविवार को अभिषेक समयाल का घर पहुंचने पर परिवारजनों व ग्रामीणों द्वारा भव्य स्वागत किया गया।

परिजनों सहित ग्रामीणों ने उनको आशीर्वाद दिया। पिता प्रदीप समयाल ने बताया कि अभिषेक समयाल की शुरुआती शिक्षा ज्ञान ज्योति पब्लिक स्कूल भाली में हुई तथा उसके बाद सैनिक स्कूल में अपनी बारहवीं की परीक्षा उतीर्ण करने पर एनडीए की परीक्षा पास की तथा अपनी मेहनत व लगन से सेना में अफसर बनकर जिला व क्षेत्र के अन्य युवाओं के समक्ष एक मिसाल पेश की है। अभिषेक समयाल के भारतीय सेना में लेफ्टिनेंट बनने से गांव भनियाड़ी के ग्रामीणों में खुशी की लहर है। अभिषेक समयाल ने कहा कि वह देश सेवा करने में अपनी जान तक को न्यौछावर कर देंगे, लेकिन देश पर आंच तक नहीं आने देंगे। उन्होंने कहा कि देश सेवा ही पहला परम कत्र्तव्य होगा।

भोरंज के टिक्कर खतरियां से अकांक्षित के सपने साकार

निजी संवाददाता — भोरंज
तहसील भोरंज के गांव टिक्कर खतरियां के अकांक्षित कुमार ने थलसेना में लेफ्टिनेंट बनकर अपने सपनों को साकार किया है।
आफिसर ट्रेनिंग अकादमी गया से पासआउट होकर सिग्नल कोर में बतौर लेफ्टिनेंट के पद पर देश सेवा करेंगे। बचपन से ही भारतीय सेना में जाने का उनका सपना था। इस सपने को हकीकत में बदलने के लिए उन्होंने दिन-रात मेहनत की व अच्छे अंक प्राप्त कर उनका चयन टेक्निकल एंट्री स्कीम के 38 बैच में हुआ। जहां उन्होंने चार वर्ष की ट्रेनिंग करने के बाद अपने सपने को साकार किया। इसकी प्रेरणा उन्हें अपने परिवार से ही मिली, क्योंकि उनके दादा प्यार सिंह भी सेना में थे और उनके पिता सुरेंद्र कुमार भारतीय नौसेना में कार्यरत हैं। इसलिए भारतीय फौज की वर्दी का आकर्षण शुरू से ही रहा है। अकांक्षित की माता गृहणी हैं। उनके लेफ्टिनेंट बनने से भोरंज क्षेत्र वासियों में खुशी की लहर है। इस अवसर पर कुलदीप सिंह, रणजीत सिंह, नरेश चंदेल, सूर्यांश चंदेल, अभिलाष वर्मा, देशराज वर्मा, मानसी, राजकुमारी, तनु, ब्रह्मी देवी, पिंकी देवी, मीना कुमारी, अभिषेक वर्मा व श्वेता वर्मा ने अपनी शुभकामनाएं दी हैं।

बड़सर के दो भाई चमके

निजी संवाददाता — बड़सर
उपमंडल बड़सर की ग्यारह ग्रां पंचायत के भालत गांव के दो सगे भाई सेना में लेफ्टिनेंट भर्ती हुए हैं। नरेश शर्मा, जो कि पेशे से अध्यापक हैं, के दोनों बेटे सेना में लेफ्टिनेंट भर्ती हुए, जिनमें से उनका बड़ा बेटा अनमोल कानव दो दिन पहले ही राष्ट्रीय डिफेंस एकेडमी देहरादून से पासआउट हुआ है, जबकि छोटा लड़का अनुराग कानव अगले साल जून में पास आउट होगा। इनकी माता टीजीटी हैं। माता-पिता के लिए इससे बड़ी क्या उपलब्धि हो सकती है कि उनके दोनों ही बेटे सेना में लेफ्टिनेंट भर्ती हुए। दोनों ही लड़कों की शिक्षा सैनिक स्कूल सुजानपुर टीहरा से हुई है। एक पासिंग आउट होकर, जबकि दूसरा अगले साल देहरादून से पास आउट होगा। इलाके के लोगों ने इसके लिए इनको शुभकामनाएं दी हैं। पिता नरेश शर्मा ने बताया कि दोनों ने काफी अच्छी मेहनत की है और समय पर अनुशासन में कड़ी मेहनत करके यह मुकाम हासिल किया है।
बड़े लड़के ने 2017 में एनडीए की परीक्षा उत्तीर्ण की थी, जबकि छोटे लड़के ने 2018 में एनडीए की परीक्षा उत्तीर्ण की थी। बड़ा लड़का अनमोल अभी दो दिन पहले ही देहरादून राष्ट्रीय डिफेंस एकेडमी से पास आउट हुआ है और घर आया हुआ है। इसी के चलते घर पर कार्यक्रम का आयोजन भी किया गया।

सिद्धबाड़ी के अक्षय चौधरी अफसर

कार्यालय संवाददाता — योल
धर्मशाला उपमडल के सिद्धबाड़ी गांव का अक्षय चौधरी टीईएस 38 से भारतीय सेना में नियुक्त हो गया। अक्षय की प्रारंभिक शिक्षा आर्मी पब्लिक स्कूल योल में हुई है। इनके पिता सूबेदार मेजर सुभाष चंद सेना से सेवानिवृत्त हुए हैं। माता कुसुम लता गृहिणी हैं और भाई अभय चौधरी है। अक्षय चौधरी ने कहा कि वह अपने पिता से प्रेरित हैं और हमेशा से खुद को उनकी वर्दी में देखना चाहते थे। उन्होंने चार साल का प्रशिक्षण किया, जिसमें एक साल के लिए अधिकारी प्रशिक्षण अकादमी गया में बुनियादी सैन्य प्रशिक्षण, फिर कैडेट प्रशिक्षण विंग, एमसीटीई महू मध्य प्रदेश में तीन साल का प्रशिक्षण, जहां उन्होंने जेएनयूए नई दिल्ली द्वारा दी गई दूरसंचार डिग्री में सैन्य प्रशिक्षण के साथ-साथ इंजीनियरिंग भी की। फिर पिछले एक महीने से वह पासिंग आउट परेड के लिए अधिकारी प्रशिक्षण अकादमी गया में आए और अंत में भारतीय सेना में अधिकारी के कुलीन समूह के सदस्य बन गए। उन्होंने बताया कि उनकी मम्मी घरेलू हंै और हमेशा से मुझे प्रेरित करती रहती हैं। मेरा भाई की वजह से ही मैं इस स्टेज तक पहुंचा हूं। वह हमेशा से मेरा मार्गदर्शन करते रहे हैं।

मुल्थान के अक्षय ने बनाई पहचान

निजी संवाददाता — मुल्थान
छोटा भंगाल व चोहार घाटी की 20 पंचायतों में आर्मी में पहला नौजवान लेफ्टिनेट बना है। मुल्थान तहसील के दूरदराज गांव धरमान का अक्षय ठाकुर (22) पुत्र रामरतन शनिवार को देहरादून में अपने चार साल पूरे करने पर लेफ्टिनेट बना। अक्षय ठाकुर एक गरीब परिवार से मुल्थान तहसील के छोटे से गांव धरमान में 2010 में पांचवीं पास की। उसके बाद 2017 तक सैनिक स्कूल सुजानपुर जमा दो पास की। 2018 में एनडीए की परीक्षा पास की। उसके बाद तीन साल पुणे खडक बासला में कोर्स किया। इंडियन आर्मी देहरादून में एक साल पूरा करने के शनिवार को देहरादून में राष्ट्रपति द्वारा 310 जांबाजों को लेफ्टिनेट की उपाधि दी गई। अक्षय ठाकुर ने बताया की जिला कांगड़ा से पांच लड़के इस ग्रुप में लेफ्टिनेट बने हैं। अक्षय का आज तक सारा खर्च उसके गरीब दादा शेर सिंह ने ही उठाया है। दादा शेर सिंह ने कहा कि वह 75 साल के हैं। इस क्षेत्र में सेना में पहला लड़का लेफ्टिनेट बना। देहरादून में अक्षय के साथ उसके दादा शेर सिंह, पिता राम रत्न, बहन आंचल ठाकुर व भाई अभय ठाकुर सम्मलित थे। पूरे क्षेत्र में खुशी की लहर है।

पांवटा साहिब के दो जांबाज बने लेफ्टिनेंट

कार्यालय संवाददाता — पांवटा साहिब
हिमाचल प्रदेश के पांवटा साहिब के वार्ड नंबर तीन और वार्ड नंबर आठ के निवासी वतन शर्मा व स्पर्श बंगवाल भारतीय सेना इंफेंट्री में लेफ्टिनेंट बने हैं। वतन शर्मा व स्पर्श बंगवाल के लेफ्टिनेंट बनने पर परिजनों व पांवटा साहिब क्षेत्र में खुशी की लहर है। पांवटा साहिब वार्ड नंबर तीन निवासी दंपत्ति स्व. नीरज शर्मा व विजय शर्मा के पुत्र ने गुरुकुल स्कूल हरियाणा से जमा दो कक्षा तक की शिक्षा ग्रहण की है। उसके बाद सेना में जाने की तैयारियों में जुट गए थे। अपने कठिन परिश्रम से परीक्षा को उत्तीर्ण कर पूना में प्रशिक्षण लिया और देहरादून आईएमए में अपनी ट्रेनिंग पूरी की। वतन शर्मा की मां विजय शर्मा, बहन निहारिका शर्मा ने कहा कि शनिवार को भारतीय सैन्य अकादमी (आईएमए) में अंतिम पग भरते ही 319 नौजवान भारतीय सेना का हिस्सा बन गए, जिनमें उनका वतन शर्मा भी शामिल था। उन्होंने बताया कि स्कूल समय से ही उनका बेटा अच्छा शूटर भी रहा है। अब वतन शर्मा भारतीय सेना 22 मराठा इंफेंट्री में बतौर सेकंड लेफ्टिनेंट सेवाएं देंगे। वह गुजरात के गाजीपुर में ज्वॉइंन करेंगे। वहीं पांवटा के ही वार्ड नंबर आठ के निवासी लोकेश बंगवाल व सुनीता बंगवाल के पुत्र स्पर्श बंगवाल ने जमा दो की परीक्षा पांवटा के दि स्कॉलर होम स्कूल से पूरी की। उन्हें आर्मी में जाने का बड़ा शौंक था, जिसके चलते उन्होंने ओटीए गया बिहार से ट्रेनिंग पूरी की है।


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