एसएमसी टीचर्ज की पगार बढ़ी
तीस फीसदी बढ़ोतरी कर शिक्षकों को दी राहत, शिक्षा विभाग ने जारी की अधिसूचना
शिमला — प्रदेश के विभिन्न स्कूलों में तैनात एसएमसी शिक्षकों के वेतन में तीस फीसदी तक की बढ़ोतरी की गई है। सरकार के इस फैसले से शिक्षकों में खुशी का माहौल है। इन शिक्षकों को ग्रांट इन एड योजना के तहत स्कूलों में तैनाती दी गई है। जो मानदेय बढ़ाया गया है, वह प्रति पीरियड के आधार पर दिया जाएगा। इसके तहत पीजीटी को 150 की जगह 195 रुपए प्रति पीरियड मानदेय मिलेगा, जबकि जेबीटी, एलटी, शास्त्री को 97 रुपए प्रति पीरियड मानदेय मिलेगा। एसएमसी आधार पर पीजीटी शिक्षकों को पहले छह हजार मानदेय मिलता था, अब यह 7800 रुपए कर दिया है। इसी तरह डीपीई का मानदेय छह हजार से बढ़ाकर 7800, टीजीटी का छह हजार से 7800, भाषा अध्यापक का मानदेय 4500 से बढ़ाकर 5850, शास्त्री का 4500 से 5850, डीएम का 4500 से 5850 और जेबीटी का 3500 से 4550 रुपए मासिक मानदेय किया है। वर्तमान में प्रदेश में करीब तीन हजार शिक्षक एसएमसी आधार पर कार्यरत हैं। शिक्षा विभाग ने मानदेय बढ़ोतरी की अधिसूचना जारी कर दी है। हालांकि एसएमसी शिक्षक लंबे समय से सरकार से स्थायी पालिसी की मांग कर रहे हैं। इस बारे में एक सम्मेलन के दौरान मुख्यमंत्री ने आश्वासन भी दिया था, लेकिन पालिसी बनाने का मामला अभी अधर में है। अब सरकार ने इनके मानदेय में बढ़ोतरी कर दी है। उधर, प्राथमिक अध्यापक संघ (पैट शिक्षकों) का सम्मान समारोह 26 मई को आयोजित होगा। पीटरहॉफ में आयोजित होने वाले इस कार्यक्रम में मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह, उद्योग मंत्री मुकेश अग्निहोत्री, आईपीएच मंत्री विद्या स्टोक्स मौजूद रहेंगे।
ग्रामीण विद्या उपासकों का भी बढ़ा है वेतन
दो दिन पहले ही सरकारी स्कूलों में ग्रामीण विद्या उपासक (ईजीएस) का वेतन बढ़ाया गया है। पहले इन शिक्षकों को 7500 रुपए मासिक वेतन मिलता था। इसे बढ़ाकर अब 8910 किया है। इसके साथ इन शिक्षकों को अनुबंध की तर्ज पर 75 फीसदी ग्रेड-पे भी मिलेगा। ऐसे में इन प्रदेश में 1500 शिक्षक ईजीएस के तहत तैनात हैं। ग्रामीण विद्या उपासक और ईजीएस दो तरह से इन शिक्षकों की नियुक्तियां हुई हैं।
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