पहले दिन 110 क्विंटल मछली का शिकार

By: Aug 2nd, 2017 12:05 am

बंगाणा – कुटलैहड़ विधानसभा क्षेत्र के अंतर्गत गोबिंदसागर झील में मत्स्य आखेट करने वाले मछुआरों के अच्छे दिन शुरू हो गए हैं। मत्स्य आखेट पर जून व जुलाई दो माह के पूर्ण प्रतिबंधित काल के समाप्त होने पर मंगलवार को पहले ही दिन मछुआरों ने रिकार्ड 110 क्विंटल मछली पकड़कर पिछले साल का रिकार्ड तोड़ दिया है। इससे क्षेत्र में मछुआरों के चेहरों पर रौनक छा गई है। प्रतिबंधित काल के समाप्त होते ही क्षेत्र के 200 से ज्यादा मछुआरे अपनी रोजी-रोटी के जुगाड़ में जुट गए और झील में जाल लगाकर मछली पकड़ने का कार्य शुरू कर दिया है। जानकारी के मुताबिक कुटलैहड़ मत्स्य सहकारी सभा में पिछले वर्ष प्रतिबंधित काल के पहले दिन 20 क्विंटल मछली पकड़ी गई थी, परंतु इस बार करीब चार गुना अधिक मछली पकड़ी गई। इसमें करीब 90 प्रतिशत कतला प्रजाति की मछली पकड़ी गई है। जबकि मत्स्य विभाग की लठियाणी सोसायटी में 20 क्विंटल मछली का शिकार किया गया, जोकि पिछले वर्ष से दोगुना के करीब है। उधर, मत्स्य विभाग की मंदली व दोबड़ मत्स्य सहकारी सभा में पिछले वर्ष की तुलना में इस बार मछली उत्पादन गिर गया तथा आधे से भी कम मछली का शिकार हुआ। इस संबंध में मत्स्य विभाग के इंस्पेक्टर सुरेंद्र पटियाल ने बताया कि इस बार आशा के विपरीत गोंबिंदसागर झील से मछली पकड़ी गई है। मत्स्य विभाग की चार सोसायटियों कुटलैहड़, लठियाणी, मंदली व दोबड़ में कुल 110 क्विंटल मछली पकड़ी गई हैं। जो कि पिछले वर्ष से 35 प्रतिशत अधिक है। इसकी कीमत करीब 11 लाख रुपए है। उन्होंने बताया कि इस बार विभाग ने दो माह के प्रतिबंधित काल में पूरी चौकसी रखी और अवैध शिकार पर पूर्णतः विराम लगाया। उन्होंने बताया कि इस वर्ष पहले ही दिन 95 प्रतिशत कतला प्रजाति, ग्रेड की मछली पकड़ी गई है। जबकि सिल्वर कार्प, महाशीर, राहू प्रजाति की मछली भी पकड़ी गई हैं। पहले दिन मत्स्य आखेट में कैहलवीं गांव के मछुआरे राकेश कुमार ने 23 किलोग्राम की भारी भरकम मछली पकड़ी है। इसे मत्स्य विभाग व स्थानीय मत्स्य सहकारी सभा की और से सम्मानित किया जाएगा।

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