पैरामिलिट्री फोर्सेस को हक न मिलने से खफा
पालमपुर— सेना के जो जवान 35 वर्ष की आयु में रिटायर हो जाते हैं, उन्हें वन रैंक-वन पेंशन मिलनी चाहिए, लेकिन जो अफसर 62 वर्ष तक जॉब करते हैं, उन्हें यह लाभ क्यों मिलना चाहिए। पैरामिलिट्री फोर्स एसोसिएशन के अनुसार सेवानिवृत्त कर्नल डेविस डिमैलो ने कहा है कि वन रैंक-वन पेंशन पर केवल सेना के जवानों का अधिकार है, क्योंकि सेना के जवान 35 वर्ष की आयु में रिटायर हो जाते हैं, लेकिन कर्नल डिमेलो ने यह नहीं बताया कि सेना के जो अधिकारी 48 से 62 वर्ष की उम्र तक अपनी सेवाएं देते हैं, तो वे इसके हकदार क्यों हैं। पैरामिलिट्री फोर्स संगठन के प्रदेश सचिव मनवीर कटोच ने कहा कि इस आर्टिकल में यह भी लिखा है कि पैरामिलिट्री फोर्स के सदस्य 57 वर्ष तक सेवाएं देते हैं और वे इसके दायरे में नहीं आते, लेकिन सवाल यह है कि एयरफोर्स व नेवी भी सेना का एक अंग है और इनके सदस्य भी 57 वर्ष की आयु में सेवानिवृत्त होते हैं। उन्हें भी सेना की तर्ज पर ही अधिकार मिलते हैं। इस आर्टिकल में यह भी लिखा गया कि पैरामिलिट्री फोर्स पुलिस के दायरे में आती है। इसलिए वन रैंक-वन पेंशन का हक उन्हें नहीं मिलना चाहिए।
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