परिवार नियोजन कैंप बना सिरदर्द

By: Jan 5th, 2018 12:05 am

नादौन – छह बैड के नादौन अस्पताल में लगा परिवार नियोजन कैंप महिलाओं के लिए सिरदर्द बन गया। आपरेशन के बाद महिलाओं को फर्श पर लेटा दिया गया है। मजबूरी में महिलाएं ठंडे फर्श पर ठिठुरने को मजबूरी थीं। आपरेशन के बाद जहां महिलाओं को आराम की जरूरत थी, वहीं ये दूविधा में दिखीं। सिविल अस्पताल का दर्जा प्राप्त यह अस्पताल महज नाम के लिए सिविल अस्पताल है। इसमें सुविधाएं न के बराबर हैं। दर्जा बढ़ाए जाने के बाद यहां न तो बिस्तर की संख्या बढ़ी और न ही नई बिल्डिंग का निर्माण हुआ। गुरुवार को नादौन अस्पताल में परिवार नियोजन कैंप का आयोजन किया गया। विशेषज्ञों की टीम सुबह अस्पताल में पहुंच गई। यहां आपरेशन करवाने के लिए 55 महिलाओं ने आवेदन कर रखा था। गुरुवार को 25 महिलाओं के आपरेशन हो पाए। 30 महिलाओं के आपरेशन 26 दिसंबर को किया गया था। गुरुवार को नसबंदी के बाद हालात बदतर हो गए। महिलाओं को आपरेशन के बाद अस्पताल में बैड नसीब नहीं हो सका। आनन फानन में इन्हें फर्श पर ही लेटाना पड़ा।  गुरुवार को इन सुविधाओं की पोल उस समय खुल गई जब अस्पताल परिसर में नसबंदी के आपरेशन विभाग द्वारा आरंभ किए गए। स्थान की कमी के कारण आपरेशन के बाद महिलाओं को फर्श पर ही जैसे-तैसे इकट्ठा कर लेटाया गया। डा. करतार चंद पर्यवेक्षक स्वास्थ्य विभाग का कहना है कि नादौन अस्पताल में छह बिस्तर की व्यवस्था है। गुरुवार के दिन 20 से अधिक आप्रेशन किए गए हैं। महिलाओं को बैरंग नहीं लौटाया जा सकता था। इनकी सुविधा के लिए ही शिविर लगा था। महिलाओं को जमीन पर भी लेटाया गया, लेकिन इनके लिए यहां बिस्तर की व्यवस्था की गई थी। महज छह बिस्तर पर सभी को सुविधा देना मुमकिन नहीं था।

सुविधा उपलब्ध करवाने का करेंगे प्रयास

इस संबंध में नादौन के पूर्व विधायक विजय अग्निहोत्री ने आरोप लगाया है कि गत पांच वर्षों में इस अस्पताल के नए भवन का कार्य कांग्रेस सरकार ने लटकाए रखा, जबकि पूर्व भाजपा सरकार के समय तत्कालीन मुख्यमंत्री प्रेम कुमार धूमल ने यहां नए भवन का शिलान्यास किया था। उन्होंने कहा कि अब प्रदेश में भाजपा सरकार का गठन हो गया है। अब यहां हर प्रकार की सुविधा उपलब्ध करवाने का प्रयास किया जाएगा।


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