लक्कड़ बाजार…मुश्किल में कारोबार

By: Jan 8th, 2018 12:10 am

शिमला — हिल्स क्वीन शिमला में बहुत से पर्यटक स्थल व ऐतिहासिक भवन और इसके अलावा यहां के बाजार भी प्रसिद्ध है। शिमला में आने वाले पर्यटक शिमला स्थित लोअर बाजार व लक्कड़ बाजार की सैर करना कभी नहीं भूलते, लेकिन आज हम सिर्फ बात कर रहे है शिमला के ऐतिहासिक लक्कड़ बाजार की। अंग्रेजों के समय का बना यह लक्कड़ बाजार यहां हमेशा हर सामान लकड़ी का ही मिलता था। घर के सामान से लेकर सजावट तक हर छोटी-बड़ी वस्तु लकड़ी से बनाई होती थी। कई सालों पहले इस बाजार में इतने पर्यटक आते थे कि रात को दस  बजे पुलिस कर्मी दुकानदारों से जबरदस्ती दुकाने बंद करवाते थे, लेकिन आज स्थिति ऐसी हो गई है कि गिने चुने पर्यटक ही इस बाजार में पहुंचते है व खरीदारी करते है। लक्कड़ बाजार में सालों से व्यापार कर रहे व्यापारियों ने लक्कड़ बाजार की कम हो रही मान्यता पर चिंता व्यक्त की है। व्यापारियों के अनुसार लक्कड़ बाजार के गिरते स्तर का कारण लकडि़यों का न मिलना है। उनका कहना है कि सराहन पूर से बड़ी मशक्कत कर वे लकडि़यां लाते है। उनका कहना है कि अब लक्कड़ बाजार की वो बात नहीं रही जो पहले थी। आपको ये भी बता दे कि अब लक्कड़ बाजार में गिनी चुनी ही लकड़ी के सामान की दुकाने रह गई है, बाजार में अब कई ढाबे, व अन्य सामानों की दुकाने खुल गई है, जिस तरह से शिमला का ऐतिहासिक लक्कड़ बाजार अपनी मान्यता खोता जा रहा है यह अपने आप में एक बड़ा चिंतनीय विषय है। अंग्रजों के समय में बने इस बाजार में कोई भी पर्यटक बिना घुमे वापस नहीं जाता था , लेकिन जिस तरह से धीरे-धीरे राजधानी के ऐतिहासिक धरोहरें व पर्यटन स्थल अपनी मान्यता खोते जा रहे है । इससे आने वाले समय में पर्यटन व्यवसाय पर बुरा असर पड़ सकता है। ऐसे में इस ऐतिहासिक मार्केट के अस्तित्व पर ही सवालिया निशान लग गया है।

यह अहमियत है लक्कड़ बाजार की

अंग्रेजों के समय का लक्कड़ बाजार अपनी धरोहर के लिए जाना जाता है, जहां लकड़ी के बने सामान को लेकर लक्कड़ बाजार की शिमला में विशिष्ट पहचान है। वहीं कुछ और खासियतें भी है। लक्कड़ बाजार में स्थित सीताराम के चने-भटूरे, आलू की टिक्की का  स्वाद, एक बार खाने वाला कभी नहीं भूला। वहीं शिमला का सबसे बड़ा पिक्चर हाल भी यहीं पर था। रिंगल  बिल्डिंग में चलने वाला पीक्चर हाल सालों पहले आग की भेंट चढ़ गया। इसके बाद लक्कड़ बाजार  में स्थित रिंगल बिल्डिंग की पहचान रोलर स्केटिंग रिंक के रूप में आज तक कायम है। पुरानी फिल्मों की शूटिंग रोलर स्केटिंग रिंक में हो चुकी है। इस तरह लक्कड़ बाजार अपनी धरोहर को संजोए हुए है। पंजाब के लुधियाना में भी इस नाम पर लक्कड़ बाजार का नाम रखा गया है। इसके अलावा लक्कड़ बाजार से ही राजधानी की हर धरोहर के लिए जाने के लिए रास्ता है।


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