नगर निगम ने नहीं लिया 72 होटलों से बिल

By: Apr 26th, 2018 12:10 am

शिमला में सामने आई नाकामी, डिफाल्टरों की लिस्ट भी 2016-2018 तक, कइयों ने करनी है पानी के बिल की अदायगी

शिमला  —नगर निगम शिमला की कार्यप्रणाली हर बार सवालिया घेरे में आती है। हैरानी की बात है कि निगम ने दो सालों में शहर के 72 होटलों से समय पर पानी के बिल नहीं लिए। निगम को करोड़ों की राशि पानी के बिल से होटल व्यवसायियों से वसूलनी है। हैरान कर देने वाली बात है कि एक ओर नगर निगम हर बार बजट घाटे का रोना रोता है तो दूसरी ओर सालों से होटलों से पानी के करोड़ों रुपए के बिल वसूलने में नाकाम रहा है। अहम बात यह भी है कि नगर निगम ने जिन डिफाल्टर होटलों की लिस्ट जारी की है वे लिस्ट केवल दो साल यानी की 2016 से 2018 तक की ही जारी की है। जानकारी के अनुसार इससे पहले भी कई होटल व्यवसायी ऐसे है जिन्होंने कई सालों से पानी के बिल नहीं दिए है। उल्लेखनीय है कि राजधानी शिमला में आम जनता को पानी का बिल समय पर देने पर भी नियमित रूप से पानी की सप्लाई नहीं मिलती है तो दूसरी ओर जो बड़े होटल व्यवसायी पानी के बिल सालों से नहीं भर रहे है, उन्हें रोज नियमित रूप से पानी मिल रहा है। बता दे कि शहर के 34 वार्डों में लोगों की चौथे दिन पानी की सप्लाई होती है, वही कई वार्ड ऐसे भी है जहां हफ्ते बाद भी जनता को पूरा पानी नहीं मिलता। नगर निगम शिमला ने पानी का बिल न देने वालों की यह लिस्ट पार्षदों की मांग पर जारी की। इससे पहले नगर निगम भी इस लिस्ट को सार्वजनिक करने से कतरा रहा था। बुधवार को नगर निगम की मासिक बैठक में पार्षदों की मांग पर डिफाल्टर होटलों की लिस्ट जारी की गई।

58 लाख होटल-26 लाख बसंत बिहार कालोनी से

बुधवार को नगर निगम की मासिक बैठक में निगम प्रशासन ने बताया कि शिमला के 72 होटलों से 58 लाख की राशि वसूलनी है। हालांकि नगर निगम ने अब जारी की डिफाल्टर होटल व्यवसायियों को एक माह का समय दिया है और कहा है कि अगर एक महीने के भीतर डिफाल्टर 72 होटल व्यवसायी पानी के बिल जमा नहीं करवाते है, तो ऐसे में उन्हें दूसरा मौका नहीं दिया जाएगा और उनके पानी के बिल काट दिए जाएंगे। नगर निगम की मासिक बैठक में यह निर्णय लिया गया और निगम अधिकारियों ने बताया कि 31 मार्च को होटलों के मालिकों को पानी के बिल जमा करवाने के निर्देश दे दिए है।

व्यवसायियों की बढ़ाई लाइसेंस फीस

निगम की बैठक में शिमला शहर में व्यवसाय कर रहे व्यवसायियों की लाइसेंस फीस बढ़ा दी गई है, जिसमें छोटे व्यवसायियों के नए लाइसेंस फीस को 200 रुपए और मीडियम व्यापारियों की 300 और वही बड़े व्यापारी और होटल व्यवसायियों के लाइसेंस के नवीनीकरण करवाने की फीस 500 रुपए की गई।

वाहन पार्क करने की फीस बढ़ोतरी

नगर निगम ने शहर में पिली लाइनों में वाहन पार्क करने पर फीस निर्धारित की है, जिसमें बड़े वाहनों को 24 घंटे में गाड़ी पार्क करने के लिए 80 रुपए और दोपहिया वाहन के लिए 24 घंटों में 30 रुपए निर्धारित किए गए है। इसके अलावा हर घंटे में वाहनों को देखते हुए पांच व दस रुपए के हिसाब से वाहन फीस वसूली जाएगी।

दस साल के अनुभव वाले को रखा जाए वकील

समरहिल वार्ड से पार्षद शैली शर्मा ने बैठक में मुद्दा उठाया कि नगर निगम शिमला में जो स्टेंडिंग काउंसिल रखे है, वे किस आधार पर रखें गए है। उन्होंने आरोप लगाया कि निगम ने जो वकील नगर निगम में रखे है वे निगम के हक में सही रूप से अपनी बात कोर्ट में नहीं रख पाते जिस वजह से निगम की कई योजनाओं पर कार्य नहीं हो पाता। उन्होंने निगम से मांग उठाई है कि निगम में करीब दस साल के अनुभव वाले वकील कोही रखा जाए।

पार्षद शैलेंद्र-शैली के बीच नोक-झोंक

नगर निगम की मासिक बैठक में उस समय हंगामा हुआ जब भाजपा समर्थित पार्षद व शैली आपस में बहसबाजी में उलझ गए। इस दौरान दोनों पार्षदों में अपनी-अपनी पार्टी को लेकर काफी देर तक विवाद चला। इस दौरान बहसबाजी खत्म होने के बाद जब वे निगम से अपने वार्ड की समस्याओं पर जवाब मांगे तो जवाब न मिलने और पार्षदों द्वारा उनकी आवाज दबाने पर शैली शर्मा भावुक हो गई और उन्होंने सदन से रोते-रोते वॉकआउट कर दिया। इस दौरान कई महिला पार्षद उनके समर्थन में वॉकआउट पर तो उतर आई, लेकिन अन्य पार्षदों के दवाब में उन्होंने वॉकआउट नहीं किया। हालांकि कई महिला पार्षदों ने आरोप लगाए कि निगम की बैठक में कई बार महिला पार्षदों के अच्छा व्यवहार नहीं किया जाता जो कि निंदनीय है।

आउटसोर्स होंगे गारबेज कलेक्टर

नगर निगम शिमला की मासिक बैठक में पार्षद कमलेश मेहता ने सवाल किया कि शहर में गारबेज कलेक्टर काम छोड़ कर जाता है तो उसकी जगह दूसरा गारबेज कलेक्टर रखने का क्या प्रावधान है इस सवाल पर नगर निगम में लंबे समय तक पार्षदों और महापौर व निगम प्रशासन के बीच लंबे समय तक नोंक-झोंक हुई। अंत में कुद पार्षदों की मांग पर नगर निगम शिमला ने निर्णय लिया कि पार्षद अपने लेवल पर कुछ समय तक ट्रायल बेस पर गारबेज कलेक्शन को आउटसोर्स करें अगर इसका अच्छा परिणाम निकलता है तो इसे दूसरे वार्डों में भी शुरू किया जाएगा।

बीपीएल सूची धांधली की होगी विजिलेंस जांच

नगर निगम की मासिक बैठक में पार्षदों की मांग पर नगर निगम ने फैसला लिया है कि बीपीएल सूची में हो रही धांधली को रोकने के लिए विजिलेंस जांच की मांग उठाई जाएगी। उल्लेखनीय है कि निगम की बैठक में पार्षदों ने काफी समय तक बीपीएल मामले पर बहस की। इस दौरान कई पार्षदों ने आरोप लगाए कि नगर निगम बीपीएल सूची को अपडेट करने के लिए गंभीर नहीं है। पार्षद शैलेंद्र, शैली व इसके अलावा अन्य पार्षदों ने कहा कि नगर निगम शिमला के वार्डों में कई ऐसे परिवार है, जिनके एक ही परिवार में चार से पांच बीपीएल कार्ड बने हुए है। जिससे गरीब व जरूरतमंद लोगों को इसका सही ढंग से फायदा नहीं मिल पा रहा है। पार्षद शैलेंद्र चौहान ने कहा कि नगर निगम शिमला के अंतर्गत आने वाले ढली क्षेत्र में गरीबों के लिए जो आशियाने बने है, उसमें वे लोग बसे है जिनके पास दो-दो गाडि़यां है। पार्षद ने कहा कि गरीब जनता को आशियानों की सुविधा नहीं मिल रही है। पार्षदों की मांग को देखते हुए निगम प्रशासन ने निर्णय लिया कि नगर निगम बीपीएल सर्वे व सूची में हुई धांधली की विजिलेंस जांच की मांग सरकार से उठाएंगे।

तहबाजारियों पर होगी कार्रवाई

नगर निगम शिमला की मासिक बैठक में पार्षद सत्या कौंडल की मांग पर फैसला लिया गया कि संजौली के फायर हाइडे्रट पर बैठे तहबाजारियों पर जल्द कार्रवाई की जाएगी। निगम महापौर कुसुम सदरेट ने कहा कि इसके अलावा शिमला में जहां भी तहबाजारी है उनके लिए दूसरे स्थानों को चयन किया जाएगा। शहर की जनता को तहबाजारियों की वजह से कोई दिक्कत न आए इसके लिए जल्द ही तहबाजारियों को दूसरी जगह बैठने के लिए उपलब्ध करवाई जाएगी। महापौर ने कहा कि केवल उन्हीं लोगों को बैठने दिया जाएगा जिनका लाइसेंस बना होगा।

कहां से कितनी अदायगी तय है

होटल वुड लैंड 221444, मेहमान 116093, 80092, 120290, ड्रीम 73627, सत्कार 68706, 337246, फलोरा 12674, गोल्ड 174643, 160018, सीता 63199, 82223, सवेरा 23732, 34041, रेलेक्सो 6329, 16421, कैंडी 12440, 16079, रॉक्सी वेयर 22254, धु्रव 29033, 19677, 18577, मारसी 22185, ब्रिटिश रिजार्ट 420627, 301521, 327565, कैपिटल 9135, 12389, 8221, 39841, 6176, लॉर्ड गे्र 42347, वैली व्यू 10340, प्रकाश 34056, रसिक 27805, 31091, 14757, मोती महल 79505, 136294, ईस्ट वर्न 76162,  79768, रजत 130004, शालीमार 95996, 68535, 130779, ब्रिज व्यू  70731, 34998, 12775, ईवीई 29243, ईवीई 44141, चंदन 44673, 29899, वुड विला  178421,  43325, 41045, वुडरिना कैफे  26465,  208917, फेयरलॉन 25941, पीच ब्लॉसम 130326, महासू पीक रिजार्ट 410329,  हिमाचल होलीडे कुफरी 8103, हैवेन रिजार्ट 8568, गंगा 18830, 18846, श्यामला 100173,  86623, इंद्र प्रस्थ 51140, हरि पैलेस 22305, प्रीत  19085, 23886, शिमला व्यू क्वीन इस्टेट 28177

कुल       5844149

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