जम्मू-नेपाल जाने वाले गिद्धों को ढूंढेंगे

By: Jun 12th, 2018 12:01 am

वन्य प्राणी विभाग की योजना, पक्षियों को पहनाए जांएगे कॉलर

हमीरपुर— गिद्ध प्रजाति के संरक्षण के लिए अब विभाग जम्मू-कश्मीर, नेपाल व उत्तराखंड के जंगलों में जाने वाले गिद्ध प्रजाति की लोकेशन ट्रेस करेगा। इसके लिए गिद्धों पर कॉलर लगाई जाएंगी। कॉलर के माध्यम से तय होगा कि गिद्ध प्रजाति कौन से जंगल में जाना व रहना अधिक पसंद करती है। इस जंगल की भौगोलिक परिस्थितियों को परखा जाएगा। बाद में ऐसे ही स्थिति हिमाचल के जंगलों में पैदा करने की कोशिश होगी। विभाग जल्द गिद्धों पर कॉलर लगाने की तैयारी कर रहा है, साथ लगते जम्मू-कशमीर, नेपाल व उत्तराखंड के घने जंगलों में गिद्धों का बसेरा होने की संभावनाएं जताई जा रही हैं। विभाग की मानें, तो परिस्थितियों के हिसाब से गिद्ध प्रजाति के पक्षी इन जंगलों में अधिक समय बिताते हैं। इन जंगलों में इनके जीवनयापन से संबंधित क्या कुछ उपलब्ध है, इसकी भी जांच होगी। वर्तमान में कांगड़ा को छोड़ अन्य किसी जिला में गिद्ध प्रजाति के होने के प्रमाण नहीं मिले हैं। अगर बात कुछ वर्षों पहले की करें तो हिमाचल के हर जिला में गिद्धों का बसेरा था। किसी भी पशु के मरने पर गिद्धों का जमावड़ा लग जाता था। अब हालात ऐसे हैं कि पशु के मरने पर कई दिनों तक वातावरण प्रदूषित होता रहता है। पर्यावरण संरक्षण के मद्देनजर अब वन्य प्राणी विभाग ने गिद्धों की संख्या को जल्द बढ़ाने का फैसला लिया है। हालांकि कांगड़ा में गिद्धों का सख्या में बढ़ोतरी हुई है। महज कांगड़ा ही ऐसा जिला है, जहां गिद्धों के घोंसले मिले हैं। विभाग की मानें तो जम्मू-नेपाल व उत्तराखंड के जंगलों में गिद्धों के होने की बात सामने आई है। फिलहाल कॉलर लगाने के बाद तय होगा कि हिमाचल के गिद्ध बाहरी राज्यों के जंगलों में जा रहे हैं या नहीं।

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