एक दिन चलेगा शीतकालीन सत्र

By: Dec 26th, 2018 12:01 am

चंडीगढ़ -हरियाणा विधानसभा का होने वाला शीतकालीन सत्र बेहद छोटा मगर हंगामेदार हो सकता है। जानकारी के अनुसार, सरकार इस सत्र को सिर्फ एक दिन के लिए बुलाना चाहती है, लेकिन अगर विपक्षी दलों का दबाव बढ़ा तो इसे दो दिन तक बढ़ाया जा सकता है। बता दें, विधानसभा की बिजनेस एडवाइजरी कमेटी की बैठक में सत्र की अवधि तय होगी। वहीं, विधानसभा सचिवालय शीतकालीन सत्र एक दिन का होने के चलते अपनी तैयारियों को अंतिम रूप देने में लगा है। सूत्रों के अनुसार, मुख्यमंत्री मनोहर लाल के नेतृत्व वाली कैबिनेट की बैठक में शीतकालीन सत्र 28 दिसंबर को बुलाने का निर्णय हुआ है। इसके साथ ही, विधानसभा सचिवालय के मुताबिक सत्र सुबह 11 बजे शुरू होगा। भाजपा सरकार ने शीतकालीन सत्र की परंपरा आरंभ की। पहले सिर्फ मानसून सत्र बुलाया जाता था। राज्य सरकार ने विधानसभा सचिवालय को सिर्फ 28 दिसंबर को एक दिन का शीतकालीन सत्र बुलाने का प्रस्ताव दिया है, लेकिन अन्य पार्टियों के नेता बिजनेस एडवाइजरी कमेटी की बैठक में सत्र 31 दिसंबर को भी चलाने की मांग उठा सकते हैं।

कर्जमाफी पर गर्म हो सकता है सदन

इस शीतकालीन सत्र में जबरदस्त हंगामा होने के भी आसार दिख रहे हैं। जहां, कांग्रेस और इनेलो किसानों के कर्ज माफ करने का मुद्दा उठाएंगे, वहीं भाजपा की ओर से पांच नगर निगमों में हुई शानदार जीत का जश्न मनाते हुए इनेलो व कांग्रेस को चुनौती दी जा सकती है। अवैध कालोनियों को नियमित करने के लिए बिल में संशोधन लाया जा सकता है। सरकारी भर्ती में हो रही देरी पर विपक्ष की ओर से सरकार की घेराबंदी की जा सकती है।

सचिवालय ने नहीं मांगा एक भी प्रश्न

शीतकालीन सत्र में इस बार विधायक अपने हलकों की समस्याओं से जुड़े सवाल नहीं पूछ सकेंगे। किसी विधायक से विधानसभा सचिवालय ने इस बार कोई सवाल नहीं मांगा है। राज्य सरकार के वर्ष 2018-19 के संशोधित अनुमान (रिवाइज एस्टीमेट) शीतकालीन सत्र में पास किए जाएंगे। अभी तक किसी नए बिल का भी प्रस्ताव विधानसभा सचिवालय को नहीं मिला है, लेकिन राज्य सरकार की तैयारी करीब आधा दर्जन बिल पास कराने की है।


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