बैंक बंद… कर्मियों का हल्ला बोल

By: Dec 22nd, 2018 12:05 am

ऊना—अखिल भारतीय बैंक अधिकारी संघ ऊना ने मांगों की अनदेखी होने के चलते हड़ताल की। इस दौरान संघ सदस्यों द्वारा नारेबाजी भी की गई। बैंक अधिकारी संघ ऊना के प्रधान अंजन केशव ने कहा कि केंद्र सरकार की ओर से मांगों को अनदेखा किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि बैंक अधिकारियों का पे रिवीजन वर्ष 2017 से लंबित है, लेकिन सरकार की ओर से इस ओर कोई भी ध्यान नहीं दिया जा रहा है। उन्होंने कहा कि न्यू पेंशन स्कीम शुरू की गई है जिसका नुकसान अगली पीढ़ी को उठाना पड़ेगा। न्यू पेंशन स्कीम भी बंद की जाए। उन्होंने कहा कि एनपीए को लेकर होहल्ला किया जा रहा है, लेकिन बैंकिंग की ओर ध्यान नहीं दिया जा रहा है। उन्होंने कहा कि 26 दिसंबर को भी हड़ताल की जाए। इसके बाद भी मांगें नहीं मानी गईं तो आंदोलन किया जाएगा। इसकी जिम्मेदारी केंद्र सरकार की होगी। उधर, भा. स्टेट. बैंक अधिकारी संघ शिमला मडयूल हिप्र. सहायक महा सचिव अंजन केशव, प्रधान पीएनबी डीके संधू, सचिव अंजनी शर्मा, सचिव मुकेश दुरेजा ने कहा कि केंद्र सरकार की ओर से बैंक आफिसरों के वेतन संशोधन से संबंधित विभिन्न मुद्दों पर 2018, बैंकिंग बड़ौदा, विजया बैंक और देना बैंक के प्रस्तावित विलय, क्षेत्रीय ग्रामीण बैंकों के विलय, सेवा अधिकारियों और सेवानिवृत्त लोगों से संबंधित कई अन्य मसलों के समाधान के लिए कोई उचित कदम नहीं उठाए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि आईबीए के प्रतिकूल दृृष्टिकोण के कारण हल नहीं किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि एआईबीओसी द्वारा बैंक ऑफ बड़ौदा, विजया बैंक और देना बैंक को मर्ज करने के सरकारी प्रस्ताव का विरोध किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि मर्ज की गई इकाई को एनपीए सहित अन्य अपनी किसी भी समस्या से निपटने में कोई मदद नहीं मिलेगी। उन्होंने कहा कि बैंकों के विलय होने के बाद भी बैंकों को कई समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। विलय के कारण शाखाओं का तर्कसंगतता देश में लाखों सामान्य ग्राहकों को बैंकिंग सेवाओं को दूर करना सुनिश्चित करता है। उक्त लोगों ने केंद्र सरकार से आग्रह किया है कि बैंक अधिकारियों, कर्मचारियों की समस्याओं का समाधान किया जाए।


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