सरकार नहीं, कंपनियां ही तय करती है सीमंेट के रेट

By: Dec 16th, 2018 12:05 am

बिलासपुर—सदर विधायक सुभाष ठाकुर ने जानकारी देते हुए बताया कि धर्मशाला विधानसभा सत्र के दौरान जन हित के लिए तारांकित विधान सभा प्रश्न रखे। इसके तहत प्रदेश में सीमेंट का उत्पादन होने के बावजूद दूसरे राज्यों की तुलना में यहां सीमेंट महंगे दामों में बिकता है और यदि हां, तो सरकार प्रदेश में सीमेंट सस्ता करने का विचार रखती है? तारांकित प्रश्न का जवाब देते हुए उद्योग, श्रम एवं रोजगार, तकनीकी शिक्षा तथा व्यावसायिक एवं औद्योगिक प्रशिक्षण मंत्री विक्रम सिंह ने कहा कि प्रदेश में स्थित विभिन्न सीमेंट कंपनियों द्वारा खुले बाजार में सीमेंट के रेट अपने स्तर पर निर्धारित किए जाते हैं, क्योंकि सीमेंट एक अनियंत्रित मद है। भारत सरकार की अधिसूचना संख्याः एसआ.168(ई)ए दिनांक 1 मार्च 1989 एवं राज्य सरकार की अधिसूचना संख्या एफडीएस, (3).6/82, दिनांक 16 जनवरी 1991 द्वारा सीमेंट के वितरण एवं मूल्य निर्धारण के नियंत्रण को समाप्त किया जा चुका है। उन्होंने बताया कि प्रदेश में विभिन्न सीमेंट कंपनियों द्वारा रेट मांग एवं पूर्ति के आधार पर निर्धारित किए जाते हैं।  हिमाचल प्रदेश में पड़ोसी राज्य की तुलना में सीमेंट थोड़ा महंगा मिलता है फिर भी सरकार द्वारा समय-समय पर उक्त सीमेंट कंपनियों के साथ बैठक बुलाकर उन्हें खुले बाजार में सीमेंट के रेट कम करने के निर्देश दिए जाते हैं तथा उक्त कंपनियों के प्रतिनिधियों ने बैठकों में खुले बाजार में सीमेंट के रेट अधिक होने के यह कारण हैं कि हिमाचल प्रदेश में अधिक माल भाड़ा होना तथा प्रदेश में कम सीमेंट कम्पनियों का होना और प्रदेश में सीमेंट के प्रति बैग पर जीटी/सीजीसीआर कर लागू होना।


Keep watching our YouTube Channel ‘Divya Himachal TV’. Also,  Download our Android App