नवंबर-फरवरी में प्री-बोर्ड एग्जाम
शिक्षा विभाग ने स्कूलों से रिजल्ट सुधार की कही बात, हर महीने चार टेस्ट लेने के निर्देश
शिमला —हिमाचल प्रदेश के सरकारी स्कूलों में बोर्ड की परीक्षा में इस बार सुधार करने के निर्देश दिए गए हैं। उच्च शिक्षा निदेशक अमरजीत की ओर से जारी निर्देशों में कहा गया है कि स्कूल प्रबंधन बोर्ड की फाइनल परीक्षा से पहले नवंबर व फरवरी माह में प्री-बोर्ड के एग्जाम करवाएं। इससे परीक्षा से पहले छात्रों का डर जहां दूर होगा, वहीं परीक्षा में आने वाले पैटर्न के बारे में भी उनकों जानकारी मिल पाएगी। विभाग ने सभी जिला उपनिदेशकों को इस बार बोर्ड परीक्षा परिणाम में सुधार की बात की है। विभाग ने कहा है कि हर साल सरकारी स्कूलों में बोर्ड परीक्षा परिणाम में गिरावट आ रही है। उन्होंने बताया कि जहां वर्ष 2018-2019 में दसवीं में जहां 63.39 प्रतिशत और जमा दो में 70.18 प्रतिशत रिजल्ट रहा था, वहीं इस साल 2019-20 में रिजल्ट में गिरावट आने के बाद दसवीं का रिजल्ट 69.79 और जमा दो का परिणाम 62.01 प्रतिशत रहा है। विभाग ने सरकारी स्कूलों को नसीहत देते हुए कहा है कि स्कूली छात्रों पर पढ़ाई का बोझ न डाला जाए और रोचक व स्ट्रेस फ्री होकर साल भर पढ़ाया जाए। उच्च शिक्षा विभाग ने अधिसूचना जारी कर कहा है कि टीचर डायरी को भी शिक्षक हर साल मेंटेंन कर रखें। वहीं माह के अंतिम दिन स्कूल प्रधानाचार्य से इस डायरी को साइन करवाया जाए। शिक्षा विभाग ने प्रदेश भर के सभी सरकारी स्कूलों के लिए साल भर शैक्षणिक गतिविधियां किस तरह से करनी चाहिएं, इस पर शेड्यूल जारी किया है।
प्रतियोगिताएं करवाना जरूरी
विभाग ने स्कूलों में छात्रों के लिए प्रश्नोत्तरी प्रतियोगिता से लेकर भाषण व वाद विवाद प्रतियोगिता का आयोजन करने की भी बात कही है। उच्च शिक्षा निदेशक ने कहा है कि सरकारी स्कूलों के छात्रों का शिक्षा स्तर सुधारने के लिए छोटी-बड़ी प्रतियोगिताएं आयोजित करवाना बेहद जरूरी है। विभाग के अधिकारियों ने यह भी कहा है कि फ्री बेग-डे पर भी किसी एक विषय पर छात्रों को जागरूक किया जाए।
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