अनदेखी पर भड़की डिपो संचालक समिति

By: Nov 5th, 2019 12:01 am

प्रदेश व्यापी हड़ताल की दी चेतावनी, सम्मेलन में मांगों को लेकर किया मंथन

मंडी – प्रदेश डिपो संचालक समिति ने मंडी में सोमवार को प्रदेश स्तरीय सम्मेलन करने के बाद अपनी मांगों को लेकर धरना प्रदर्शन किया। समिति ने सम्मेलन में रणनीति बनाने के बाद प्रदेश सरकार को चेतावनी दे दी है। आने वाले समय में अगर समिति की मांगों को नहीं माना गया, तो डिपू संचालक पूरे प्रदेश में हड़ताल करेंगे। इसके अलावा राशन न उठाने, चक्का जाम करने, मंत्रियों का घेराव आदि कदम भी समिति उठा सकती है। सम्मेलन के बाद समिति ने डीसी मंडी के माध्यम से सीएम जयराम ठाकुर को अपना मांग पत्र भी भेजा। प्रदेश डिपो संचालक समिति के अध्यक्ष अशोक कवि ने बताया कि समिति ने कई बार सीएम के पास अपनी मांगें रखीं, लेकिन अभी तक उन पर कोई ठोस कार्रवाई नहीं हो पाई है और मांगे लंबित हैं। उन्होंने बताया कि डिपो धारक प्रदेश के साथ केंद्र सरकार का राशन भी बांट रहे हैं, लेकिन दोनों ही सरकारों ने उनके बारे में अभी तक कुछ नहीं सोचा है। उन्होंने बताया कि मुख्य रूप से उनकी मांगों में जम्मू-कश्मीर, केरल, गोवा व तमिलनाडू की तरह डिपो संचालक को सरकारी कर्मचारी घोषित करना है। उन्होंने बताया कि डिपो संचालकों को फूड लाइसेंस के लिए दस हजार रुपए नवीनीकरण शुल्क अदा करना पड़ रहा है, जबकि वे तो सरकार के राशन का ही आबंटन करते हैं। समिति ने सीएम से डिपो संचालकों को एफएसएसएआई के लाइसेंस की अनिवार्यता को खत्म करने की मांग की है। खाद्यापूर्ति निगम के गोदामों से राशन लाने के लिए गाडि़यों के किराए में पिछले कई वर्षों से बढ़ोतरी नहीं हुई है। डिपो धारकों को कम किराया दिया जाता है, जबकि उन्हें किराया अधिक देना पड़ता है। समिति ने गाडि़यों के किराए के साथ लेबर के पैसों में बढ़ोतरी करने की मांग की है।


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