शीत मरूस्थल लाहुल-स्पीति में बिछी सफेद चादर पर सबसे पहला उत्सव

दो महीने तक चलने वाले स्नो फेस्टिवल का आगाज
मंत्री रामलाल मार्कंडेय रहे मौजूद
प्रेम ठाकुर — केलांग
शीत मरूस्थल जिला लाहुल-स्पीति में पहली बार सर्दियों के मौसम में स्नो फेस्टिवल का आयोजन हो रहा है। करीब दो माह तक चलने वाला यह लाहुल-स्पीति का सबसे पहला और प्रदेश का सबसे लंबा कार्यक्रम होगा, जहां करीब दो माह तक विभिन्न तरह के आयोजन व प्रतियोगिताएं होंगी। सोमवार को शुरू हुए प्रदेश के सबसे लंबे स्नो फेस्टिवल का आयोजन मंत्री डा. रामलाल मार्कंडेय की मौजूदगी में हुआ। वहीं, इस आयोजन को सफल बनाने में जिला लाहुल-स्पीति के उपायुक्त पंकज राय ने कड़ी मेहनत की है। काफी समय से वह कार्यक्रम का शुभारंभ करवाने को लेकर भी आयोजन की तैयारियों में जुटे थे। विभाग के अन्य अधिकारियों ने भी सहयोग करते हुए आयोजन को सफल बनाने के लिए दिन-रात मेहनत की।
दो माह तक चलने वाले इस स्नो फेस्टिवल में जहां लाहुल संस्कृति की छठा देखने को मिलेगी। वहीं, यहां के लोग भी स्नो फेस्टिवल के माध्यम से एक साथ हो सकेंगे। एक साथ विभिन्न प्रतियोगिताओं में भाग ले सकेंगे। अन्यथा सर्दियों के दौरान लोगों को एक साथ मिलने का मौका कम ही मिलता था। करीब दो माह तक चलने वाले इस स्नो फेस्टिवल में फागली, हालड़ा, स्क्रींग प्रतियोगिता, छोलो, तिरअंदाजी, गोची सहित अन्य लाहुल-स्पीति की पारंपरिक उत्सवों को एक साथ मनाया जाएगा। अटल टनल खुलने के बाद से ही यहां इस बार इस तरह से लंबे समय तक स्नो फेस्टिवल मनाने का मौका लाहुल प्रशासन को मिल पाया है। कड़ी चुनौती के बीच इस तरह का आयोजन करना आसान नहीं है। फिर भी प्रशासन ने यहां बेहतर आयोजन करते हुए उत्सव के पहले दिन को यादगार बनाया है।
हर कोई पारंपरिक परिधानों में सजा
आयोजन के दौरान वीआईपी से लेकर प्रतियोगिता में भाग लेने वाले तक पारंपरिक परिधान में दिखे। यही नहीं पारंपरिक परिधानों सहित पारंपरिक खाने का भी आनंद यहां लोगों ने जमकर लिया। लाहुली पारंपरा को जिस तरह से स्नो फेस्टिवल के माध्यम से उभारा जा रहा है, वह कहीं न कहीं आने वाले समय में जिला लाहुल-स्पीति में पर्यटन को बढ़ावा देने में मददगार साबित होगा। इस तरह का आयोजन अगर समर सीजन में भी होता है, तो आने वाले समय में देशभर के सैलानियों की पहली पंसद जिला लाहुल-स्पीति ही होगी।