फाइलों में सिमटा लक्ष्मीनाथ मंदिर ट्रस्ट का पुनर्गठन

By: Apr 22nd, 2024 12:20 am

प्रदेश में सत्ता परिवर्तन के बाद नहीं हुआ पुनर्गठन, मीटिंग न होने से कामकाज हो रहा प्रभावित

दिव्य हिमाचल ब्यूरो-चंबा

ऐतिहासिक लक्ष्मीनाथ मंदिर ट्रस्ट चंबा फाइलों तक सिमटकर रह गया। प्रदेश में सत्ता परिवर्तन के बाद मंदिर ट्रस्ट का पुनर्गठन भी नहीं हो पाया है। इसके चलते पिछले दो वर्षों से ट्रस्ट की बैठक न होने से मंदिर के रखरखाव सहित अन्य कार्य प्रभावित हो रहे हैं। उल्लेखनीय है कि वर्ष 2013-14 के दौरान तत्कालीन वीरभद्र सरकार ने लक्ष्मीनाथ मंदिर की प्रबंधक कमेटी को भंग करके ट्रस्ट का गठन किया था। हालांकि वीरभद्र सरकार के मंदिर कमेटी को भंग करके ट्रस्ट गठन की कवायद के खिलाफ विरोध के स्वर भी मुखर हुए थे। मगर राजनीतिक हस्तक्षेप के चलते विरोध की चिंगारी दफन होकर रह गई। इसके बाद मंदिर के रखरखाव सहित अन्य कार्य ट्रस्ट के माध्यम से किए जा रहे हैं। प्रदेश में सत्ता परिवर्तन के साथ ट्रस्ट के गैर सरकारी सदस्यों में बदलाव होता रहा। मगर ट्रस्ट अपने गठन के उद्देश्यों पर अभी तक खरा नहीं उतर पाया है। करीब एक वर्ष पहले खर्चे विवाद को लेकर तीन दिन तक चंबा के अराध्य देव भगवान लक्ष्मीनाथ को भोग तक नहीं लग पाया।

वर्ष 2022 में प्रदेश में सत्ता बदलाव के बाद लक्ष्मीनाथ मंदिर ट्रस्ट का दोबारा से पुनर्गठन नहीं हो पाया है। इसके चलते मंदिर ट्रस्ट की बैठक भी आयोजित नहीं हो पा रही है। इस कारण मंदिर के रखरखाव सहित अन्य कार्यो को गति नहीं मिल पा रही है। उधर, ब्राहमण प्रतिनिधि सभा चंबा सहित विभिन्न सामाजिक संगठनों ने अधिष्ठाता इष्टदेव भगवान लक्ष्मीनाथ मंदिर ट्रस्ट के पुनर्गठन न होने से नाराजगी जताई। उन्होंने कहा कि ट्रस्ट के गठन के बाद मंदिर के रखरखाव सहित अन्य कार्यों का जिम्मा जिला प्रशासन के पास है। मगर लंबे अरसे ट्रस्ट का नए सिरे से गठन व मीटिंग न होने से कामकाज प्रभावित हो रहे हैं। उन्होंने सरकार से जल्द ट्रस्ट का पुनर्गठन करने की मांग उठाई है ताकि मंदिर के बेहतर रखरखाव व अन्य कार्यों को गति मिल सके।


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