नहीं चलेगी कारोबारियों की मनमानी

By: Mar 10th, 2017 12:01 am

प्रदेश में बनेगी रियल एस्टेट रेगुलेटरी अथॉरिटी, ड्राफ्ट तैयार

शिमला  —  हिमाचल में रियल एस्टेट सेक्टर को नियंत्रित करने के लिए रियल एस्टेट रेगुलेटरी अथॉरिटी बनेगी। केंद्र सरकार द्वारा पारित रियल एस्टेट एक्ट के तहत इसका गठन किया जाएगा। हिमाचल सरकार ने यह एक्ट लागू करने की कवायद शुरू कर दी है। टीसीपी विभाग ने इस एक्ट के ड्राफ्ट रूल्ज तैयार कर दिए हैं। इससे हिमाचल में भी रियल एस्टेट सेक्टर पर शिकंजा कसा जा सकेगा। रियल एस्टेट कारोबारियों की मनमानी पर रोक लगेगी। इसके लिए सरकार ने हिमाचल में रियल एस्टेट एक्ट लागू करने की तैयारी शुरू कर दी है। केंद्र सरकार ने पिछले साल यह एक्ट पारित किया था। इसके तहत सभी राज्यों को रियल एस्टेट रेगुलटेरी अथॉरिटी (रीरा) का गठन करना जरूरी है और एक्ट लागू करने के नियम बनाए जाने हैं। हिमाचल ने इसके लिए ड्राफ्ट नियम तैयार कर दिए हैं। इन नियमों को सरकार की फाइनल मंजूरी के बाद लागू कर दिया जाएगा और इस तरह हिमाचल में भी रियल एस्टेट एक्ट लागू होगा। इसके अनुसार अब हिमाचल में रियल एस्टेट रेगुलेटरी अथॉरिटी रियल सेक्टर के पूरे कामकाज पर पूरी निगरानी रखेगी। अथॉरिटी के लिए सरकार चेयरपर्सन व सदस्यों की नियुक्ति करेगी। अथॉरिटी के पास प्रोजेक्टों की पूरी जानकारी होगी। आवासीय प्रोजेक्टों के अलावा कामर्शियल प्रोजेक्टों को भी यह अथॉरिटी रेगुलेट करेगी। फ्लैट खरीदने की शिकायतों का निपटारा यह अथॉरिटी करेगी और नियमों की अवहलना करने वालों पर कार्रवाई का इसको पूरा अधिकार होगा। हालांकि साथ में सरकार को अपीलीय अथॉरिटी का भी गठन करना होगा। रेगुलेटरी अथॉरिटी की वेबसाइट पर रियल एस्टेट कारोबारियों के प्रोजेक्टों का प्लान, लेआउट, सरकारी अप्रूवल, प्रोजेक्ट लागत व पूरा करने का समय आदि सभी जानकारी दिखाई जाएंगी।

अथॉरिटी के पास रजिस्ट्रेशन जरूरी

अभी तक प्रोजेक्टों में देरी का रियल एस्टेट कारोबारियों पर कोई असर नहीं पड़ता, लेकिन अथॉरिटी के गठन के बाद इसकी क्षतिपूर्ति करनी होगी। सभी प्रोजेक्ट जिनका एरिया 500 वर्ग मीटर या आठ अपार्टमेंट से ज्यादा होगा, उनका रजिस्ट्रेशन अथॉरिटी के पास करना जरूरी होगा। एक बार यह अथॉरिटी अस्तित्व में आ जाने पर ग्राहकों के हितों की रक्षा हो सकेगी।


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