एनसीईआरटी सिलेबस नहीं पढ़ेंगे छोटे बच्चे

By: Sep 30th, 2017 12:01 am

प्राइमरी स्कूलों में पुराना पाठ्यक्रम जारी रखने की तैयारी में सरकार

 शिमला —  प्राथमिक स्कूलों में अगले शैक्षणिक सत्र से छात्रों को एनसीईआरटी पाठ्यक्रम पढ़ाने का फैसला वापस लेने की तैयारी है। सूत्रों का कहना है कि सरकार दोबारा इस फैसले को रिव्यू करते हुए पुराने पाठ्यक्रम को ही अगले सत्र में जारी रखना चाहती है। इस बाबत निदेशालय को भी सरकार की ओर से पत्र जारी कर दिया गया है। वहीं, एनसीईआरटी पाठ्यक्रम लागू न करने पर हिमाचल प्राथमिक शिक्षक संघ के पदाधिकारियों ने भी नाराजगी जताई है। संघ के अध्यक्ष गुरचरण सिंह बेदी ने कहा है कि यदि विभाग अगले सत्र से प्राथमिक स्कूलों में एनसीईआरटी की किताबें उपलब्ध नहीं करवाता है, तो संघ इसका विरोध करेगा और इस विरोध में अभिभावकों को भी शामिल किया जाएगा। पहली से पांचवीं तक एनसीईआरटी पाठ्यक्रम पढ़ाने के शिक्षा विभाग के प्रस्ताव को सरकार ने अप्रैल में मंजूरी प्रदान कर दी थी। विभाग ने इसके लिए सभी तैयारियां भी पूरी कर ली थीं और अगले सत्र से इस फैसले को लागू किया जा रहा था। यह पाठ्यक्रम प्रदेश के सभी सरकारी स्कूलों में एक साथ लागू होना था, लेकिन अब सरकार ने फिलहाल अपने इस फैसले को टालने का निर्णय लिया है। वर्तमान में केवल छठी से आठवीं तक ही एनसीईआरटी का सिलेबस पढ़ाया जा रहा है। अध्यापकों के सुझावों के बाद प्रारंभिक शिक्षा निदेशक व राज्य परियोजना निदेशक ने इन सुझावों के आधार पर सरकार को प्रस्ताव भेजा था, जिसे सरकार ने मंजूरी प्रदान कर दी थी, लेकिन अब इसे लागू न करने का फैसला लिया गया है। पाठ्यक्रम में सामंजस्य बने, इसके लिए जरूरी है कि एनसीईआरटी की ही पुस्तकों को स्कूलों में लगाया जाए।

निदेशालय में भी हुआ था विश्लेषण

प्रारंभिक शिक्षा निदेशालय में इस मामले पर कई बैठकें  भी हुई थीं। इसमें  प्राइमरी अध्यापक फेडरेशन के सदस्यों ने प्रदेश की पुस्तकों, राष्ट्रीय शैक्षणिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद द्वारा तैयार की गई पुस्तकों का विश्लेषण किया और सुझाव दिया कि इन पुस्तकों को प्राथमिक स्कूलों में लागू किया जाए। छठी से आठवीं तक की कक्षाओं में भी राष्ट्रीय शैक्षणिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद द्वारा तैयार की गई पुस्तकें लगाई गई हैं।


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