आईपीएच पर 88 करोड़ की देनदारी

By: Dec 16th, 2018 12:01 am

बरसात ने बहाए 430 करोड़, पर विभाग को नहीं मिली राहत

तपोवन – आईपीएच विभाग द्वारा चलाई जा रही पेयजल, सिंचाई एवं अन्य कार्यों की देनदारी 88 करोड़ पहुंच गई है। देनदारी कई स्कीमों के तहत हुए मरम्मत कार्यों पर हुए खर्च से हुई है। शिमला जल प्रबंधन निगम के एनर्जी चार्जेज के 80 करोड़ भी अधर में लटके हुए हैं। इसके अलावा आईपीएच विभाग के बरसात में बहे 430 करोड़ चार लाख के बदले अब तक मात्र 10 करोड़ ही मदद मिल पाई है। मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने आईपीएच विभाग की देनदारियों को जल्द से जल्द चुकाने की बात कही, ताकि हर घर से जुड़े हुए विभाग के कार्य बेहद आसानी से चल सकें। आईपीएच मंत्री महेंद्र सिंह ने नियम-130 के अंतर्गत विधायक सुखराम चौधरी और बलवीर वर्मा के द्वारा उठाए गए मामले को लेकर कहा कि विभाग के ऊपर 88 करोड़ रुपए और शिमला जल प्रबंधन निगम की 80 करोड़ देनदारी अभी भी बची है। वर्तमान में प्रदेश में चलाई जा रही पेयजल, सिंचाई व अन्य मामलों की कुल 8809.05 लाख की देनदारियां शेष हैं। इस राशि से मार्च 2018 तक 2311.55 लाख तथा जारी वित्त वर्ष में 6497.51 लाख रुपए हैं। उन्होंने सकिलबाइज देनदारियों का आंकड़ा भी सदन में रखा।

बढ़ रही योजनाएं, श्रम शक्ति में आ रही भारी कमी

शिमला जोन में कुल देनदारी 3042.08 लाख, हमीरपुर जोन में 3129.50, धर्मशाला जोन 1796.46 व मंडी जोन की देनदारी 841.01 लाख है। वर्ष 2017-18 में यह देनदारी 2311.54 लाख थी व 2018 से 2019 तक 6497.51 लाख पहुंच गई है। प्रदेश में चलाई जा रही सैकड़ों सिंचाई योजनाएं के रखरखाव के लिए हर वर्ष पर्याप्प्त बजट व मैन पावर की आवश्यकता होती है, लेकिन समय के साथ-साथ जनस्वास्थ्य एवं सिंचाई योजनाओं की वृद्धि हो रही है, जबकि श्रम शक्ति में कमी आ रही है।


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