झूठ नहीं बोल पाएंगे कि आप बहरे हैं!

By: Mar 2nd, 2019 12:02 am

जिला अस्पतालों में होगा बैरा टेस्ट, सुनने की सही क्षमता का चल सकेगा पता

 शिमला –यदि आप यह सोच रहे हैं कि हल्की सी सुनने की दिक्कत से आप मेडिकल सर्टिफिकेट बना कर दिव्यांग को मिलने वाले तमाम लाभ प्राप्त कर सकेंगे, तो अब ऐसा नहीं होगा। अब श्रवण दोष से प्रभावित व्यक्ति के सुनने की सही क्षमता का पता लग सकेगा। प्रदेश के सभी जिला अस्पतालों में कम सुनने वाले मरीज का झूठ पकड़ने वाला टेस्ट बैरा परीक्षण की सुविधा दी जाएगी। यह ऐसा टेस्ट है, जिसमें एक ऐसी मशीन और कमरे का व्यवस्था की जाती है, जिसमें बैरा टेस्ट के माध्यम से यह पता लगाया जा सकेगा कि कम सुनने वाला व्यक्ति कितना झूठ बोल रहा है। गौर हो कि कई बार ऐसे केस प्रदेश के अस्पतालों में आ रहे हैं, जिसमें लोग कहते हैं कि उनका कान खराब है, लेकिन उसमें 60 फीसदी खराब कान वाले मरीज़ का ही दिव्यांग मेडिकल सर्टिफिकेट बनता है, लेकिन मरीज़ बैरा टेस्ट होने के बाद झूठ नहीं बोल पाएंगे कि उन्हें सुनाई नहीं दे रहा है। अब इस टेस्ट के शुरू होने से उस मरीज़ का सही मेडिकल बन पाएगा जो सही मायने में श्रवण दोष से पीडि़त है। बताया जा रहा है कि प्रदेश में मात्र आईजीएमसी और टांडा अस्पतालों में ही इस टेस्ट की सुविधा मिल रही है, जिससे मरीज को समय पर प्रमाणपत्र बनाना मुश्किल रहता है। अब समय पर मेडिकल रिपोर्ट भी बन पाएगी। गौर हो कि मुख्य सचिव बीके अग्रवाल की अध्यक्षता में भी शिमला में आयोजित बैठक में यह फैसला लिया गया है कि सभी जिला अस्पतालों में इस टेस्ट को जल्द शुरू किया जाएगा। गौर हो कि प्रदेश के बच्चों को भी इसका लाभ मिलने वाला है। श्रवण दोष से पीडि़त बच्चों के चिकित्सीय परीक्षण (बैरा टेस्ट) को बड़े पैमाने पर सुनिश्चित करने के लिए राज्य के जिला स्तरीय अस्पतालों में भी यह सुविधा प्रदान की जाएगी।

बनेंगे साउंड प्रूफ रूम, लगाए जाएंगे ऑडियोलॉजिस्ट

बैरा टेस्ट शुरू करने के लिए जिला अस्पतालों में साउंड प्रूफ रूम बनाए जाएंगे। इसके लिए सरकार प्रदेश के सभी अस्पतालों से प्रस्ताव मांगने वाला है। वहीं, सरकार को अब ऑडियोलॉजिस्ट की सुविधा भी अस्पतालों को देनी होगी। इसके बगैर यह टेस्ट नहीं हो पाता है।

 


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