सराहां की गाडि़यों को दस साल से नहीं मिला ठिकाना

By: Sep 24th, 2019 12:01 am

सराहां – पच्छाद के मुख्यालय सराहां में पार्किंग एक अहम मुद्दा है। पच्छाद की 30 पंचायतों के केंद्र बिंदू सराहां में रोजाना लगभग 400 से 500 वाहनों की आवाजाही रहती है, जिनमें इलाके के लोग रोजमर्रा का काम निपटाने आते हैं और अभी हाल ही में यहां एसडीएम कार्यालय खुल जाने से वाहनों की संख्या में और बढ़ोतरी की संभावना है। वहीं, इसके अतिरिक्त करीब 150 छोटे-बड़े वाहन यहां के स्थानीय निवासियों के हैं, जिनमें से अधिकतर के पास अपनी पार्किंग नहीं है और वे रोड साइड खड़े रहते हैं। सराहां के लिंक रोड जैसे सराहां-चढ़ेच-मताहन पर तो रोड के साइड में वाहन खड़े होने की वजह से अधिकतर वाहनों को क्रॉस करने में भारी मशक्कत करनी पड़ती है। सराहां में बढ़ते वाहनों की संख्या व पार्किंग की समस्या को लेकर सबसे पहले वर्ष 2009-10 में मंथन शुरू हो गया था। उसके पश्चात वर्ष 2011 में ग्राम पंचायत सराहां ने इस मुद्दे को प्रमुखता से उठाया व उस समय उपायुक्त सिरमौर के माध्यम से डिस्ट्रिक्ट इनोवेशन फंड के तहत पार्किंग बनाने के लिए योजना बनाई, जिसके तहत साढ़े 16 लाख रुपए मंजूर हुए और 1.50 लाख यानी दस प्रतिशत राशि डीआईएफ में जमा करवाई गई। योजना के मुताबिक इस पार्किंग का निर्माण सराहां के टूरिस्ट इन्फॉर्मेशन सेंटर काम्प्लेक्स में होना था, लेकिन 2012 में सत्ता परिवर्तन होने के बाद यह योजना ठंडे बस्ते में चली गई व तत्कालीन कांग्रेस सरकार के कार्यकाल में इस पार्किंग को बनाने का स्थल टूरिज्म काम्प्लेक्स से बदलकर नए बस स्टैंड के पास बीएसएनएल कार्यालय के पास कर दिया गया और योजना बोर्ड के उपाध्यक्ष गंगूराम मुसाफिर ने इसका शिलान्यास भी किया। इस प्रक्रिया में पूरे पांच वर्ष बीत गए और अगस्त, 2017 में इसका टेंडर एक स्थानीय ठेकेदार को दिया गया, जिसकी सिक्योरिटी अभी भी दी हुई है। पार्किंग बनाने की पूरी प्रक्रिया हो चुकी थी, लेकिन वर्ष 2017 में एक बार फिर सत्ता परिवर्तन हुआ और बीजेपी की सरकार सत्ता में आई। उसके साथ ही इस पार्किंग के काम पर भी विराम लग गया। भाजपा के मुताबिक 16 लाख पार्किंग के लिए कम थे। जिस जगह का चयन पूर्व सरकार द्वारा किया गया था, वहां पार्किंग के लिए अधिक राशि की जरूरत थी।

सरकार को भेजा प्रोपोजल

सराहां के प्रधान नरेंद्र गोसाई कहा कहना है कि वर्ष 2011 में ही डीआईएफ के तहत उपायुक्त सिरमौर के मार्फत साढ़े 16 लाख मंजूर किए गए थे, लेकिन वर्ष 2012 में कांग्रेस की सरकार के सत्ता में आने के बाद पार्किंग का स्थल योजना के मुताबिक टूरिस्ट इन्फॉर्मेशन सेंटर कॉम्प्लेक्स से बदलकर बीएसएनएल कार्यालय के पास बदल दिया गया। वहां की भौगोलिक स्थिति देखते हुए पार्किंग के लिए अनुमानित राशि दो करोड़ है, जिसका प्रोपोजल सरकार को भेजा है, जिसे जल्द पूरा करने का आश्वासन मुख्यमंत्री जयराम ने पहली सितंबर को सराहां प्रवास के दौरान दिया है। बजट मिलते ही काम शुरू कर दिया जाएगा।

भाजपा ही देगी जवाब

ब्लॉक कांग्रेस कमेटी पच्छाद के मीडिया प्रभारी मोनी ठाकुर का कहना है कि बीएसएनएल दफ्तर के पास पार्किंग के लिए जगह चयनित कर योजना बोर्ड के उपाध्यक्ष गंगूराम मुसाफिर ने पार्किंग स्थल का शिलान्यास कर दिया था, जिसके लिए साढ़े 16 लाख की राशि भी स्वीकृत थी। इसके लिए बाकायदा अगस्त, 2017 में टेंडर भी आबंटित कर दिया गया था, जिसकी सिक्योरिटी भी जमा हो गई थी। अब भाजपा की सरकार सत्ता में आने के बाद कार्य क्यों रोक दिया गया, इसका उत्तर वही बेहतर ढंग से दे सकते हैं।

जल्द शुरू होगा काम

सराहां वार्ड के पूर्व बीडीसी सदस्य व भाजपा के वरिष्ठ कार्यकर्ता अजय शर्मा ने बताया कि पार्किंग के लिए पूर्व सरकार द्वारा जो स्थान चयनित किया गया था, वहां निर्माण के लिए कम से कम दो करोड़ रुपए की आवश्यकता है। भाजपा मंडल पच्छाद ने मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर के समक्ष एकमत होकर यह मांग रखी है और उन्होंने जल्द ही इस धनराशि के लिए बजट उपलब्ध करवाने की पहली सितंबर को सराहां में घोषणा की है। उपचुनाव के बाद जल्द ही बजट मिलने के बाद पार्किंग का कार्य शुरू हो जाएगा।


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