पैक्ट फूड का इस्तेमाल

By: Aug 22nd, 2020 12:17 am

लोग जहां गतिहीन जीवनशैली में जीवन जीने को मजबूर हैं, इससे उनके स्वास्थ्य को भारी नुकसान हो रहा है। वहीं स्ट्रेस भी कई बीमारियों को बढ़ा रही है। पर हाल ही में आए शोध ने एक नई परेशानी की ओर इशारा किया है। ये परेशानी पैक्ड फूड्स को खाने से जुड़ी हुई है। दरअसल कोरोना वायरस के डर से और लॉकडाउन के कारण लोग पैक्ड फूड्स के इस्तेमाल पर ज्यादा निर्भर हुए हैं, जिससे उन्हें कई तरह की स्वास्थ्य से जुड़ी परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है…

कोरोना वायरस

महामारी का कहर देश और दुनिया में अभी भी जारी है। ऐसे में पूरी दुनिया व्यक्तिगत, सामाजिक और आर्थिक तरीके से दुखी है। अगर व्यक्तिगत नुकसान की बात करें, तो इसने लोगों के शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य पर गहरा असर डाला है। लोग जहां गतिहीन जीवनशैली में जीवन जीने को मजबूर हैं, इससे उनके स्वास्थ्य को भारी नुकसान हो रहा है। वहीं स्ट्रेस भी कई बीमारियों को बढ़ा रही है। पर हाल ही में आए शोध ने एक नई परेशानी की ओर इशारा किया है। ये परेशानी पैक्ड फूड्स को खाने से जुड़ी हुई है। दरअसल कोरोना वायरस के डर से और लॉकडाउन के कारण लोग पैक्ड फूड्स के इस्तेमाल पर ज्यादा निर्भर हुए हैं, जिससे उन्हें कई तरह की स्वास्थ्य से जुड़ी परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है। आइए जानते हैं इसके बारे में विस्तार से।

पैक्ड फूड्स का इस्तेमाल

कोरोना वायरस के कारण ज्यादातर लोग खुली चीजों के इस्तेमाल से बच रहे हैं। वहीं लोग खाना पकाने को छोड़ कर घर की सफाई पर भी ज्यादा ध्यान दे रहे हैं। लोग पास्ता से लेकर चिप्स जैसी इंस्टेंट फूड्स और रेडी टू ईट चीजों को खा रहे हैं, जो उन्हें बीमार कर सकती हैं।

कहीं आपकी आदत न बन जाएं पैक्ड फूड्स

एक अध्ययन के अनुसार ये खाद्य पदार्थ हार्ड ड्रग्स के समान ही नशे की लत लगा सकते हैं। इसका कारण यह है कि इनमें मौजूद चीनी, वसा और नमक की उच्च सामग्री मस्तिष्क को वैसा ही महसूस करवाती है और ट्रिगर करती है जैसे कि कोकीन और नशीली दवाएं। ये खाद्य पदार्थ डोपामाइन जैसे फील गुड ब्रेन केमिकल्ज को भी छोड़ते हैं, इस प्रकार आपको इन्हें बहुत ज्यादा खाने का मन हो सकता है।

मोटापा

खाने की लत के कारण आप अधिक कैलोरी का सेवन करते हैं और इससे तेजी से आपका वजन बढ़ेगा। जर्नल सेल मैटाबॉलिज्म में प्रकाशित एक अध्ययन के अनुसार डिब्बाबंद खाद्य पदार्थ आमतौर पर परिष्कृत सामग्री से बने होते हैं और इस तरह पचने में कम समय लेते हैं, जिसका अर्थ है कि आप उनके पाचन में कम कैलोरी जलाते हैं। साथ ही ये अतिरिक्त वसा और कार्बोहाइड्रेट को बढ़ाते हैं, जो वजन बढ़ा सकते हैं।

पेट से जुड़ी परेशानियां

पैक्ड जंक में नमक और चीनी की अधिकता होती है, जो गैस का कारण बन सकता है। साथ ही इन्हें खाने से आपका पेट हमेशा फूला हुआ या कब्ज वाला हो सकता है। इससे शरीर में और परेशानियां बढ़ती हैं, जैसे कि आपको चिड़चिड़ापन और भारी-भारी सा महसूस हो सकता है। वहीं ब्लड प्रेशर और ब्लड शुगर से जुड़ी परेशानियां भी हो सकती हैं।

ब्रोंकाइटिस की परेशानी

रिसर्च में प्रकाशित एक अध्ययन की माने, तो पैक्ड चीजों का लगातार सेवन ब्रोंकाइटिस की परेशानी को बढ़ा सकता है। आपको भले ही विश्वास न हो पर पैक्ड फूड्स को खाना श्वसन से जुड़ी परेशानियों को पैदा कर सकता है। ऐसा इसलिए क्योंकि इनमें नाइट्राइट जैसे द्रव्य हो सकते हैं, जो लंग्स को नुकसान पहुंचा सकते हैं। वहीं इनमें  सल्फाइट्स और सार्बेट्स जैसे तत्त्व भी होते हैं, जो अन्य परेशानियों का कारण बन सकते हैं।

थका महसूस करना

हम सभी जानते हैं कि पैकेट बंद खाद्य पदार्थ आमतौर पर हाई शुगर और नमक से समृद्ध होते हैं। वहीं इसमें हाई कार्ब्स भी होते हैं, जिसका सेवन करने से थकावट और चिड़चिड़ापन महसूस हो सकता है। साथ ही इससे आप क्रेविंग आदि भी ज्यादा महसूस कर सकते हैं। इसलिए भले ही कोरोना का डर है, पर आपको अपने घरों में ताजी चीजों का ही इस्तेमाल करने की कोशिश करनी चाहिए। आप फल, सब्जियों के साथ चना व मूंग आदि दालों का इस्तेमाल करें। ऐसे पैक्ड फूड्स के इस्तेमाल से बचें, नहीं तो आप बैठे-बैठे ब्लड प्रेशर, शुगर, मोटापा और डायबिटीज जैसी बीमारियों के शिकार हो सकते हैं।


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