प्रदेश की बिजली का सौदा कर रही कांग्रेस

By: Apr 15th, 2024 12:54 am

पूर्व मंत्री सुधीर शर्मा ने सीएम पर बिजली बोर्ड को लेकर लगाए आरोप, विद्युत बोर्ड के समानांतर बनाई एनर्जी मैनेजमैंट कंपनी
स्टाफ रिपोर्टर-धर्मशाला
पूर्व मंत्री एवं विधायक सुधीर शर्मा ने आरोप लगाते हुए कहा है कि मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू के विद्युत बोर्ड जैसे अहम विभाग में घोर भ्रष्टाचार हुआ है। पिछले दरवाजे से हिमाचल में पैदा होने वाली बिजली का सौदा एक निजी कंपनी से कर दिया गया है। मुख्यमंत्री पर यह संगीन आरोप पूर्व मंत्री एवं धर्मशाला से भाजपा प्रत्याशी सुधीर शर्मा ने लगाए हैं। धर्मशाला से भाजपा प्रत्याशी सुधीर शर्मा ने कहा कि मुख्यमंत्री के पास विद्युत बोर्ड जैसा महत्त्वपूर्ण विभाग है, लेकिन सीएम न बोर्ड के समानांतर एक एनर्जी मेनेजमैंट कंपनी बना दी है। अब हालात ऐसे हैं कि हिमाचल से बाहर भेजे जाने वाली बिजली की देख-रेख यह कंपनी करेगी। किसी प्रदेश में ऐसा पहली बार हुआ है कि बिना विद्युत बोर्ड की सहमति से एक कंपनी का गठन हो गया और उसे इतनी बड़ी जिम्मेदारी भी सौंप दी गई।

सुधीर शर्मा ने कहा कि सभी राज्यों में विद्युत बोर्ड ही बिजली खरीदता या बेचता है, लेकिन यह इतिहास में पहली बार हुआ है कि अब एक निजी कंपनी किसी प्रदेशी बिजली बेचेगी या खरीदेगी। उन्होंने कहा कि हिमाचल प्रदेश में पांच हजार मीलियन यूनिट बिजली बाहरी राज्यों को बेची जाती है, और बिना बोर्ड की सहमति से उक्त एनर्जी मेनेजमेंट कंपनी विद्युत बोर्ड का कार्यभार संभालेगी। हैरानी की बात तो यह है कि बाहरी राज्यों को प्रदेश किस रेट पर बिजली बेचेगा, यह उक्त कंपनी ही तय करेगी यानि सरकार का उस पर कोई नियंत्रण नहीं होगा। सुधीर शर्मा ने आरोप लगाया है कि इससे प्रदेश को हजारों करोड़ का नुकसान हुआ है। प्रदेश सरकार द्वारा बिना बोर्ड की अनुमति किसी कंपनी की नियुक्ति कर देना सेंट्रल इलैक्ट्रिीसिटी एक्ट का उल्लंघन है।

सुधीर शर्मा ने मुख्यमंत्री पर आरोप लगाते हुए कहा कि विद्युत विभाग उन्हीं के पास है, तो अब वह जनता को इसका क्या जबाव देंगे। उक्त कंपनी के साथ एग्रीमेंट करने में किसी अधिकारी अथवा हो सकता है मुख्यमंत्री के हस्ताक्षर हुए होंगे। सुधीर शर्मा ने कहा कि सुखविंदर सिंह सुक्खू बताएं कि उक्त कंपनी के साथ हुए करार में उनका कितना योगदान या सहमति रही है। सुधीर शर्मा ने कहा कि गत विधानसभा चुनावों में जनता को नि:शुल्क बिजली देने का वादे किया गया था, मुख्यमंत्री बताएं उस वायदे का क्या हुआ। उन्होंने कहा कि जनता के साथ किया वायदा गायब हो गया और अब विद्युत बोर्ड को कंट्रोल करने के लिए एक कंपनी को बीच में खड़ा कर दिया गया। उन्होंने कहा कि हिमाचल प्रदेश पूरे देश में बिजली उत्पादन में अग्रिणी है, लेकिन चुपचाप पिछले दरवाजे से इस विभाग का सौदा कर दिया गया, यह अपने आप में एक घोर भ्रष्टाचार है। पूर्व मंत्री ने केंद्रीय जांच एजेंसियों से निवेदन किया है कि इस भ्रष्टाचार की तत्वरित जांच की जाए, ताकि प्रदेश सरकार का भ्रष्टाचार जनता के समक्ष आ सके।


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