देश को फिर से कालेधन की तरफ धकेला गया

By: Apr 16th, 2024 12:08 am

इलेक्टोरल बॉन्ड पर बोले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, हर कोई पछताएगा

दिव्य हिमाचल ब्यूरो — नई दिल्ली

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लोकसभा चुनावों से दिए एक इंटरव्यू में इलेक्टोरल बॉन्ड पर कहा कि फिर से देश को कालेधन की तरफ धकेल दिया गया है। उन्होंने कहा कि चुनावों को कालेधन से मुक्त कराने के लिए इलेक्टोरल बॉन्ड लाया गया था, लेकिन उसे रद्द कर फिर से चुनावों में कालेधन के इस्तेमाल को बढ़ावा दिया जा रहा है। यह देश के लिए खतरनाक है। उन्होंने आगाह किया कि इसका विरोध करने वाले लोग इस मुद्दे पर पछताएंगे। पीएम मोदी ने विपक्षी दलों पर इलेक्टोरल बॉन्ड्स स्कीम को लेकर झूठ फैलाने का आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि चुनावी बांड योजना का उद्देश्य चुनावों में काले धन पर अंकुश लगाना था, लेकिन विपक्ष आरोप लगाकर भागना चाहता है। इलेक्टोरल बॉन्ड के कारण आपको मनी ट्रेल का पता चल सका है। इलेक्टोरल बॉन्ड से यह पता चल सका है कि किस कंपनी ने पैसे दिए? किस दल को पैसे दिए? पैसा कहां दिया? कितना दिया? इन सवालों के जवाब अब मिल पा रहे हैं, जो पहले संभव नहीं थे।

इसलिए मैं कहता हूं कि जब विपक्षी दल ईमानदारी से सोचेंगे, तो हर किसी को पछतावा होगा। जो लोग डाटा पब्लिक होने को लेकर हल्ला मचा रहे हैं, उन्हें बाद में अफसोस होगा। प्रधानमंत्री ने कहा कि जांच एजेंसियों की कार्रवाई के बाद जिन 16 कंपनियों ने इलेक्टोरल बॉन्ड के जरिए चंदा दिए, उनमें से केवल 37 फीसदी राशि ही भाजपा को मिली, शेष 63 फीसदी राशि भाजपा विरोधी विपक्षी दलों को मिली है। पहले भी चुनावों में राजनीतिक दल चंदा लेते थे, लेकिन उसका कोई लेखा-जोखा नहीं रहता था और कालेधन का इस्तेमाल चुनाव जीतने के लिए होता था। प्रधानमंत्री ने कहा कि ईडी और अन्य केंद्रीय एजेंसियां अच्छा काम कर रही हैं।

जिन कानूनों के तहत केंद्रीय एजेंसियां कार्रवाई कर रही हैं, उनमें से कोई कानून हमारी सरकार में नहीं बना। गौर करने वाली बात है कि केंद्रीय एजेंसियों ने जिन पर कार्रवाई की है, उनमें से 97 फीसदी लोग राजनीति से संबंधित नहीं हैं। वहीं, विपक्ष के ईवीएम पर सवाल उठाने को लेकर पीएम मोदी ने कहा कि विपक्ष हार का ठीकरा फोडऩे के लिए बहाना ढूंढता है और इसीलिए इस तरह की बातें करता है। इसके अलावा प्रधानमंत्री ने कहा कि हमारे फैसलों से किसी को भी डरने की जरूरत नहीं है। किसी को डराने या धमकाने के लिए कोई फैसला नहीं किया गया है, बल्कि देश के विकास के लिए फैसले लिए जाते हैं। पीएम मोदी ने कहा कि चुनाव आयोग सुधार का कानून हमारी सरकार लेकर आई। पहले यह होता था कि एक परिवार के जो लोग करीबी हैं, उन्हें चुनाव आयुक्त बना दिया जाता था और फिर वे राज्यसभा चले जाते थे। मंत्री बन जाते थे। हम उस तरह का काम नहीं कर सकते। प्रधानमंत्री ने कहा कि एक देश-एक चुनाव को लेकर वह प्रतिबद्ध हैं। देश के बहुत सारे लोगों ने कमेटी को अपने सुझाव दिए हैं। बहुत ही सकारात्मक सुझाव मिले हैं। एक देश, एक चुनाव लागू होने के बाद देश को बड़ा फायदा मिलेगा।


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