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असफलता तो सफलता की सीढ़ी है, बशर्ते कि हम अपनी असफलता से सबक लें, गलती न दोहराएं और काम को नए सिरे से दोबारा शुरू कर दें। सफलता के तीसरे नियम धैर्य और संवेदनशीलता का मतलब है कि टीम के बाकी लोग हमें पसंद करें, हमारे साथ मिलकर काम करना चाहें। इसके लिए आवश्यक है

शिक्षा के क्षेत्र में शिक्षक की भूमिका महत्त्वपूर्ण है। ज्ञानवान योग्य शिक्षकों की नियुक्ति और सेवा बनाए रखना महत्त्वपूर्ण है… उच्च शिक्षा की बदहाल सूरत को लेकर देश का बिहार राज्य ख़बरों में है। ताजातरीन तथ्य बताते हैं कि बिहार में चल रही 14 में से 8 यूनिवर्सिटीज और 591 में से 427 कॉलेजों को

अलग-अलग देशों की अपनी रेटिंग एजेंसियां हो सकती हैं। ऐसे में चंद एजेंसियों का एकाधिकार खत्म हो जाएगा। साथ ही इन रेटिंग एजेंसियों के पास खुद निवेशकों से पैसे कमाने की व्यवस्था होना चाहिए… वर्ष 2007-08 के दौरान अमरीकी अर्थव्यवस्था एक भयंकर त्रासदी से गुजरी और लेहमन ब्रदर्स के साथ-साथ सैकड़ों अमरीकी बैंक दिवालिया हो

हम उम्मीद करें कि भारत के द्वारा इस वर्ष 2023 में जी-20 की अध्यक्षता के बीच ऐसे रणनीतिक प्रयत्न बढ़ाए जाएंगे जिनसे चीन प्लस वन की जरूरत के मद्देनजर भारत दुनिया के नए आपूर्ति केंद्र, मैन्युफैक्चरिंग हब, अधिक निर्यात, अधिक विदेशी निवेश और अधिक विदेशी पर्यटकों को आकर्षित करने की डगर पर तेजी से आगे

पूर्व सरकार द्वारा पांच वर्षों के दौरान ठेकों की नीलामी न किए जाने के पीछे क्या कारण रहे, यह तो पूर्व सरकार के कार-कारिंदे ही बेहतर बता पाएंगे, पर इस बार की नीलामी ने पूर्व सरकार की कार्यप्रणाली को पूरी तरह नीलाम कर दिया है। चंद ठेकेदारों को फायदा पहुंचाने के चक्कर में प्रदेश के

हैरत की बात यह है कि आम आदमी पार्टी की सरकार मूसेवाला की निर्मम हत्या के बाद भी गैंगस्टरों पर काबू नहीं पा सकी। उसके पिता ने सार्वजनिक रूप से नाम लेकर कुछ लोगों के नाम लिए लेकिन सरकार के कानों पर जूं नहीं रेंगी। सरकार के इस व्यवहार से आम आदमी पार्टी पर ही

खेल सुविधाओं के लिए पलायन करने वालों को भी जब अपने ही राज्य में रह कर अपना प्रशिक्षण कार्यक्रम पूरा करने के लिए सुविधा मिलेगी तो वह फिर क्यों अपना प्रदेश छोड़ेंगे। बात चाहे शिक्षा निदेशालय की हो या किसी भी संस्थान की, अब हिमाचल प्रदेश में उचित मूल्य चुका कर घटिया किस्म का खेल

इन कंपनियों के सहयोग से बहुत से क्रांतिकारी आविष्कार हुए हैं जो शायद अन्यथा संभव ही न हुए होते। अत: औद्योगीकरण का विरोध करने के बजाय हमें ऐसे नियम बनाने होंगे कि बड़ी कंपनियां हमारे समाज के लिए ज्यादा लाभदायक साबित हों तथा उनके कारण आने वाली समृद्धि सिर्फ एक छोटे से तबके तक ही

कार्यक्रम के अनुसार 8 अप्रैल 1929 को असैंबली में ऐसी जगह बम फैंके गए थे जहां कोई मौजूद नहीं था… भारत में आजादी के 75 वर्षों के अवसर पर सभी ओर आजादी का अमृत महोत्सव मनाया जा रहा है, लेकिन यह आजादी मिली कैसी जो आज हम इस महोत्सव को मना रहे हैं? इस आजादी