भूपिंदर सिंह

भूपिंदर सिंह लेखक, राष्ट्रीय एथलेटिक प्रशिक्षक हैं देश में खेलों के पिछड़ने का बहुत बड़ा कारण खेल संघों पर लगातार कई टर्म तक व्यक्ति विशेष का कब्जा भी एक प्रमुख कारण है। पहली टर्म में तो ये पदाधिकारी काफी रुचि दिखाते हैं, मगर बाद में फिर धीरे-धीरे खेल उत्थान को भूल कर अपनी नेतागिरी व

भूपिंदर सिंह राष्ट्रीय एथलेटिक प्रशिक्षक राज्य के विद्यालयों में लाखों विद्यार्थी शिक्षा ग्रहण कर रहे हैं। प्रातःकालीन सभा व ड्रिल के पीरियड में अगर हर विद्यार्थी के बैटरी टेस्ट तथा फिटनेस कार्यक्रम पर ध्यान दिया जाता है, तो भविष्य के अच्छे फिट नागरिक तो देश को मिलेंगे ही साथ में खेलों में उत्कृष्ट प्रदर्शन करने

भूपिंदर सिंह लेखक, राष्ट्रीय एथलेटिक प्रशिक्षक हैं भारतीय सेना में भर्ती होकर वहीं पर सेना के वैपनों से शूटिंग के गुर सीखते हुए विजय कुमार ने भारत का प्रतिनिधित्व कई बार अंतरराष्ट्रीय स्तर की महत्त्वपूर्ण शूटिंग प्रतियोगिताओं में करके देश के लिए कई पदक जीते हैं। सेना से सेवानिवृत्त इस सूबेदार मेजर को इस समय

भूपिंदर सिंह लेखक, राष्ट्रीय एथलेटिक प्रशिक्षक हैं बिलासपुर की स्नेहलता एशियाई बीच खेलों में भारत का प्रतिनिधित्व करने वाली हैंडबाल की पहली महिला खिलाड़ी रही हैं। राज्य शिक्षा विभाग में राजनीति शास्त्र के प्रवक्ता पद पर नौकरी करने वाली इस खिलाड़ी ने अब तो अपने को देश के सफलतम महिला हैंडबाल प्रशिक्षकों की सूची में

भूपिंदर सिंह लेखक, राष्ट्रीय एथलेटिक प्रशिक्षक हैं खंड स्तर पर प्रतियोगिता आयोजित करवाने के लिए धन का कोई भी प्रावधान नहीं है, जबकि इस स्तर पर अधिक से अधिक प्रतिनिधित्व की जरूरत है। सरकार बजट में खंड स्तर से लेकर राज्य स्तर तक विभिन्न आयु वर्गों की खेल प्रतियोगिताओं के लिए बजट में धन का

भूपिंदर सिंह लेखक, राष्ट्रीय एथलेटिक प्रशिक्षक हैं सरकार आगामी बजट में गैर सरकारी प्रयासों से पदक विजेता खिलाडि़यों, जो किसी खेल छात्रावास में नहीं रहे हैं, उनके लिए उचित वजीफे का प्रबंध करे। साथ ही साथ सरकार खेल तथा शिक्षा विभाग के माध्यम से यह सुनिश्चित करवाए कि उसके नियुक्त प्रशिक्षक व शारीरिक शिक्षा के

भूपिंदर सिंह लेखक, राष्ट्रीय एथलेटिक प्रशिक्षक हैं सरकार को बजट में कुछ ऐसे वित्तीय प्रावधान करने चाहिएं कि बच्चे स्कूली स्तर पर पर्याप्त वजीफे से अपनी तैयारी करके केंद्र सरकार की योजनाओं के लिए चयनित हो सकें। कोशिश होनी चाहिए कि किसी खेल प्रतिभा की राह में धन की अड़चन न आए… एक समय था

भूपिंदर सिंह लेखक, राष्ट्रीय एथलेटिक प्रशिक्षक हैं 65वीं वरिष्ठ राष्ट्रीय कबड्डी प्रतियोगिता में हिमाचल की बालाओं ने पहली बार किसी भी वरिष्ठ राष्ट्रीय प्रतियोगिता का टीम स्वर्ण पदक जीत कर हिमाचल को गौरव दिलाया है। इस टीम की अधिकांश लड़कियां धर्मशाला के साई खेल छात्रावास, राज्य खेल छात्रावास बिलासपुर तथा सिरड़ा कबड्डी प्रशिक्षण केंद्र, सुंदरनगर

भूपिंदर सिंह लेखक, राष्ट्रीय एथलेटिक प्रशिक्षक हैं पहले अधिकतर खेल प्रतियोगिताएं अक्तूबर से जनवरी तक होती थीं। इसी वक्त पहले, तीसरे व पांचवें सेमेस्टर की परीक्षाएं भी आयोजित होती थीं। अब जब परीक्षा अपै्रल में एक बार होगी, तो विद्यार्थियों को खेल तथा अन्य गतिविधियों में भाग लेने के लिए पूरा-पूरा मौका मिलेगा… हिमाचल प्रदेश