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भरत झुनझुनवाला आर्थिक विश्लेषक ऐसा प्रतीत होता है कि देश में विशिष्ठ जनों ने सोचा कि इस जगत का कोई अस्तित्व तो है ही नहीं, अतः यदि लोधी हम पर आक्रमण कर रहे हैं तो वह आक्रमण भी मिथ्या ही है। इसी क्रम में गुरुदेव रबिंद्र नाथ ठाकुर ने किंग जॉर्ज के सम्मान में ‘जन

कुलभूषण उपमन्यु अध्यक्ष, हिमालय नीति अभियान भारतवर्ष में अधिकांश बड़ी नदियां हिमालय से ही निकलती हैं। हर नदी घाटी की समस्याएं और नदी का व्यवहार अलग-अलग है, हर नदी घाटी पर आबादी का दबाव भी अलग-अलग है। इसलिए राष्ट्रीय नीति के साथ-साथ स्थानीय स्तर पर भी नदी घाटी, जलागम, उप और सूक्ष्म जलागम तक योजना

जब से नासपीटा हिंदुस्तानी मीडिया कुप्पे की तरह फूल कर, अपने सीने का नाप छप्पन इंच बताने लगा है, तब से खबरों और विज्ञापनों में भेद करना मुश्किल हो गया है। पता ही नहीं चलता कब विज्ञापन के बीच खबरें शुरू हो जाती हैं? खबरों के बीच बजता संगीत और शब्दावली सत्ता, संस्थान या व्यक्ति

डा. जयंतीलाल भंडारी विख्यात अर्थशास्त्री इसी तरह सोने के आयात में लगातार कमी से भी विदेशी मुद्रा के व्यय में कमी आई है। देश के आयात बिल में सोने के आयात का प्रमुख स्थान है। पिछले वित्त वर्ष 2019-20 में सोने का आयात घटने से विदेशी मुद्रा की बड़ी बचत हुई है। यह बात भी

बंडारू दत्तात्रेय राज्यपाल, हि. प्र. बड़ी हैरानी की बात है कि जहां एक ओर पूरी दुनिया वैश्विक महामारी कोरोना से जूझ रही है, वहीं महिलाओं के प्रति घरेलू हिंसा, अत्याचार व अपराध नहीं रुके हैं। हालांकि, भारतीय संविधान में महिलाओं के अधिकारों को सुनिश्चित करने के पूर्ण प्रयास किए गए हैं। कानून की ऐसी धाराएं

डा. कुलदीप चंद अग्निहोत्री वरिष्ठ स्तंभकार इतिहास इस बात का गवाह है कि जब किसी देश में विदेशियों का कब्जा हो जाता है तो देश के कुछ मौका शिनाख्त शासकों के साथ जुड़ जाते हैं। इतना ही नहीं, वे अपनी भाषा, पोशाक, सभी कुछ विदेशी शासकों की अपना लेते हैं। अंग्रेजी के साथ भी ऐसा

प्रो. सुरेश शर्मा लेखक नगरोटा बगवां से हैं निःसंदेह कोरोना काल में ऑनलाइन शिक्षण ने अध्यापक तथा विद्यार्थियों की दूरी को कम तो किया है, परंतु यदि हम सत्य स्वीकार करें तो प्रभावी शिक्षण की दृष्टि से यह औपचारिकता मात्र ही है। कक्षीय परिवेश में सह-अस्तित्व, सहयोग, व्यापक साझेदारी, सामूहिकता एवं वैचारिक सहिष्णुता का भाव

प्रो. एनके सिंह अंतरराष्ट्रीय प्रबंधन सलाहकार यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि हिंदू धर्म में अति महत्त्वपूर्ण दैवीय शक्ति श्री राम को उनको ठिकाना देने की पवित्र प्रक्रिया को सार्वभौमिक प्रशंसा नहीं मिल रही है तथा कुछ अशांत कर देने वाली आवाजें सुनी जा रही हैं। भारत के बहुसंख्यकों की भावना से जुड़ा यह मसला जिस तरह

भूपिंदर सिंह राष्ट्रीय एथलेटिक्स प्रशिक्षक आज हम अपने घर-आंगन में भी अपनी फिटनेस के लिए काम कर सकते हैं। विभिन्न शारीरिक क्रियाओं को आप एक जगह खड़े होकर कर सकते हैं। आठ फुट की जगह पर बैठ व लेट कर कई प्रकार की क्रियाओं को किया जा सकता है। फिटनेस कार्यक्रम के लिए सबेरे खाली