दखल

* 6960 कुल बसें * 3700 प्राइवेट * 3260 सरकारी * 3137 ऑर्डिनरी * 52 वोल्वो  * 63 डीलक्स नॉन एसी * 03 सुपर डीलक्स * 05 एसी डीलक्स * 50 इलेक्ट्रिक टैक्सी * 1100 रूट घाटे में सूत्रधार : टेकचंद वर्मा भुगतान को तरसते पेंशनर और 150 निजी रूट ठप। छुट्टी न मिलने से

हिमाचल में शिक्षा का स्तर बेहतर करने के उद्देश्य से रूसा अपनाया गया,पर छात्रों ने इसका विरोध किया। इसी के मद्देनजर युवाओं का समर्थन हासिल करने के लिए भाजपा ने इस प्रणाली को बंद करने का वादा किया है, तो कांग्रेस दोबारा से समीक्षा को तैयार है। रूसा की खामियों-उद्देश्यों व संभावित सुधारों को बता

यह विकास की लहर है या बदलाव की बयार, चुनाव आयोग का कारनामा है या हिमाचल की जागरूकता। नतीजे 18 दिसंबर को हैं, मगर चुप रह कर 74 फीसदी मतदान करने वाले प्रदेश ने नेताओं की नींद उड़ा दी है।  मतदान के हर रंग को पेश कर रहे हैं…       सुनील शर्मा हिमाचल में 74.64 फीसदी

सरहदें किसी भी देश की परिभाषा होती हैं, बिना सरहदों का भला देश कैसा। सैनिक रातों को जागता है तभी पूरा देश चैन की नींद सो पाता है। इनकी अहमियत सरहदों मात्र पर ही नहीं,बल्कि ये सैनिक और उनके परिवार चुनावों में भी अहम भूमिका निभाते हैं। देश के रखवालों का प्रभाव दखल के जरिए

चुनाव के मुहाने पर खड़े हिमाचल में शिक्षक एक बार फिर अहम भूमिका निभाने जा रहे हैं। प्रदेश में कर्मचारी वर्ग एक बड़ा वोट बैंक माना जाता है और हजारों गवर्नमेंट टीचर उसका महत्त्वपूर्र्ण घटक हैं। शिक्षकों के चुनाव से क्या हैं सरोकार, बता रही हैं… भावना शर्मा प्रारंभिक पाठशालाओं में शिक्षक          

सरकार बनाने या गिराने में अहम भूमिका निभाने वाले हिमाचल प्रदेश के करीब पांच लाख मुलाजिम राज्य के विकास का रथ हांक रहे हैं। यही वह वर्ग है, जिसके दम पर सियासी दल सत्ता की नींव रखते हैं। कर्मचारियों के योगदान को बता रहे हैं… शकील कुरैशी कर्मचारी हिमाचल प्रदेश की रीढ़ हैं। न केवल

राजाओं के फाइनांसर पहाड़ी राज्य के नाम से विख्यात हिमाचल प्रदेश के विकास में महाजन समुदाय का अहम योगदान है। इस समुदाय की भागीदारी से हिमाचल तरक्की के लंबे डग भर रहा है। महाजन समुदाय की उपलब्धियां बता रहे हैं  अमन अग्निहोत्री… रियासत काल से ही व्यापार पर महाजन समुदाय का दबदबा रहा है। यही

शिव की जटाओं से खास रिश्ता है, तो पांडवों को महाभारत जिताकर ज्येष्ठ कहलाने वाले श्रीकृष्ण से गहरा नाता…। वीर हूं, दिलेर-दयावान हूं, मगर जिद्दी भी हूं…। हां मैं जाट हूं। जी हां, यही संकल्प लेकर हिमाचल का  सवा लाख आबादी वाला  जाट समुदाय अपने शौर्य से  दुनिया भर में देवभूमि को गौरवान्वित कर रहा

हिमाचल के विकास में खत्री समुदाय का योगदान अभूतपूर्व रहा है। सियासत से लेकर हर क्षेत्र में इस वर्ग ने प्रदेश को अलहदा पहचान दिलाई है।  इस बार दखल के जरिए खत्री समुदाय का सुनहरा योगदान बता रहे हैं… मस्तराम डलैल… खत्री समुदाय का इतिहास बहुत ही महत्त्वपूर्ण है। प्राचीन काल से ही यह जाति