आस्था

आंखों के चारों ओर की त्वचा बहुत नाजुक और पतली होती है, जरा सी गलती से ये आपके लिए खतरनाक साबित हो सकती है। आंखों के आसपास सूजन और दरारें आना आंखों के एग्जिमा की निशानी होती है। इसे एटॉपिक डर्मेटाइटिस भी कहा जाता है। अगर इस समस्या का समय रहते इलाज नहीं करवाया जाए,

*  गला बैठ जाए या सूजन आ जाए, तो ताजे पानी में नींबू निचोड़ कर गरारे करने से लाभ होता है। *  लहसुन को सरसों के तेल में उबालकर कान में डालने से कान का दर्द ठीक हो जाता है। *  सूखे आंवले को रात भर पानी में भिगो दें और सुबह इस पानी से

नीम एक ऐसा पेड़ है, जिसकी छाल, पत्तियों, तने, लकड़ी और सींक आदि लगभग सभी हिस्से आयुर्वेदिक दृष्टि से बहुत फायदेमंद माने जाते हैं। खासकर नीम की पत्तियों में औषधीय गुण होते हैं। आयुर्वेद के अनुसार नीम का स्वाद तिक्त (तीखा) और कटु (कड़वा) होता है। लेकिन इसमें कई ऐसे गुण होते हैं जो शरीर

पौष्टिकता से भरपूर अमरूद को संस्कृत में अमृतफल कहते हैं। अमरूद में विटामिन सी, विटामिन ए, विटामिन बी2, ई और के, फाइबर, कैल्शियम, आयरन तत्त्व काफी मात्रा में मौजूद होते हैं। इसीलिए तो अमरूद को सुपर फ्रूट कहा जाता है। अमरूद का सेवन करने से कई बीमारियां और परेशानियां दूर होती हैं। आइए जानते है

यह बीमारी तब होती है जब आपको हड्डियों से संबंधित पहले से ही कोई परेशानी हो जैसे कि अर्थराइटिस या कोई इन्फेक्शन। आपको एंजाइटी या डिप्रेशन की समस्या हो। आप नाममात्र की एक्सरसाइज भी न करते हों या आपके परिवार में पहले से ही किसी को यह समस्या हो।  पुरुषों के मुकाबले महिलाओं में यह

– डा. जगीर सिंह पठानिया सेवानिवृत्त संयुक्त निदेशक, आयुर्वेद, बनखंडी रामतोरी के फायदे रामतोरी को घी तोरी या धप्पल भी कहते हैं। इसका बेलनुमा पौधा होता है। इसकी बेल धरती पर भी फैलती है तथा वृक्षों पर भी चढ़ती है व इसको फैलने के लिए खुद भी वन वगेरा बनाया जाता है। इसका फल लगभग

श्रीलंका में एक ऐसा मंदिर है, जहां मुख्य रूप से सीता माता की पूजा-अर्चना होती है। इस मंदिर में सीता माता की भव्य प्राण प्रतिमा प्रतिष्ठित है। यहां के तमिल भाषी लोग न हिंदी बोल पाते हैं और न ही हिंदी समझ पाते हैं, फिर भी यहां हनुमान चालीसा पढ़ी व गुनगुनाई जाती है। साथ

हिंदू धर्म में गोमती नदी का बड़ा महत्त्व है। हमारी पांच सबसे पवित्र नदियों में से एक गोमती भी है। मान्यता है कि गोमती महर्षि वशिष्ठ की पुत्री थी जो बाद में नदी के रूप में परिणत हो गई। इसी पवित्र नदी के अंदर एक विशेष पत्थर पाया जाता है जिसे हम गोमती चक्र के

 गोवर्धन परिक्रमा का हिंदू धर्म में बड़ा ही महत्त्व है। हिंदुओं का प्रसिद्ध तीर्थस्थल गोवर्धन, मथुरा से 26 किलोमीटर पश्चिम में डीग हाईवे पर स्थित है। कहा जाता है कि यहां के कण-कण में भगवान श्रीकृष्ण का वास है। यहां एक प्रसिद्ध पर्वत है जिसे ‘गोवर्धन पर्वत’ अथवा ‘गिरिराज’ कहा जाता है। यह पर्वत छोटे-छोटे